गेल ने शुद्ध रूप से शून्य कार्बन उत्सर्जन लक्ष्य हासिल करने की समयसीमा घटायी |

गेल ने शुद्ध रूप से शून्य कार्बन उत्सर्जन लक्ष्य हासिल करने की समयसीमा घटायी

गेल ने शुद्ध रूप से शून्य कार्बन उत्सर्जन लक्ष्य हासिल करने की समयसीमा घटायी

:   Modified Date:  June 28, 2024 / 08:58 PM IST, Published Date : June 28, 2024/8:58 pm IST

नयी दिल्ली, 28 जून (भाषा) सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी गेल (इंडिया) लिमिटेड ने शुद्ध रूप से शुद्ध कार्बन उत्सर्जन का लक्ष्य पांच साल घटाकर 2035 कर दिया है। कंपनी ने पहले 2040 तक शुद्ध शून्य कार्बन उत्सर्जन हासिल करने का लक्ष्य रखा था।

कंपनी ने शुक्रवार को एक बयान में कहा, ‘‘ गेल के निदेशक मंडल ने स्कोप-1 और स्कोप-2 उत्सर्जन के लिए अपने शुद्ध शून्य लक्ष्य को पांच साल कम करते हुए वर्ष 2035 करने की मंजूरी दे दी है।’’

स्कोप-1 में ऐसे स्रोतों से होने वाले उत्सर्जन शामिल हैं जिनका स्वामित्व या नियंत्रण किसी संगठन के पास सीधे तौर पर होता है।

स्कोप-2 में वे उत्सर्जन शामिल हैं जो किसी कंपनी द्वारा अप्रत्यक्ष रूप से किए जाते हैं और वे उस ऊर्जा से आते हैं जिसे वह खरीदती है तथा इस्तेमाल करते हैं। उदाहरण के लिए बिजली उत्पन्न करते समय होने वाले उत्सर्जन।

कंपनी बयान के अनुसार, ‘‘गेल द्वारा अपने अपने पर्यावरण लक्ष्यों को बढ़ाने और भारत की शुद्ध रूप से शून्य कार्बन उत्सर्जन प्रतिबद्धताओं के अनुरूप करने के लिए किए गए एक व्यापक अध्ययन के बाद यह निर्णय लिया गया है।’’

इसमें कहा गया, ‘‘ गेल ने प्राकृतिक गैस आधारित उपकरणों के विद्युतीकरण, नवीकरणीय ऊर्जा, बैटरी ऊर्जा भंडारण प्रणाली (बीईएसएस), संपीड़ित बायोगैस (सीबीजी), हरित हाइड्रोजन, सीओ2 मूल्य निर्धारण पहल और वनरोपण को शामिल करते हुए एक रणनीतिक दृष्टिकोण के जरिए इस महत्वाकांक्षी लक्ष्य को प्राप्त करने की योजना बनाई है।’’

गेल के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक संदीप कुमार गुप्ता ने कहा कि कंपनी प्राकृतिक गैस के विपणन तथा पारेषण के व्यवसाय में है। प्राकृतिक गैस एक स्वच्छ ईंधन है और विभिन्न उद्योगों तथा अंतिम उपभोक्ताओं के उत्सर्जन को कम करने में सहायक है।

उन्होंने कहा, ‘‘ इसके अतिरिक्त गेल अपने परिचालनों के भीतर उत्सर्जन को कम करने के लिए विभिन्न उपाय कर रहा है, जो स्वच्छ पर्यावरण में योगदान देते हैं। शुद्ध शून्य उत्सर्जन के लक्ष्य को 2035 करने से गेल भारत के ऊर्जा परिदृश्य में अग्रणी के रूप में अपनी भूमिका की पुष्टि करता है, सतत विकास को आगे बढ़ाता है। भारत के शुद्ध शून्य उत्सर्जन लक्ष्य में महत्वपूर्ण योगदान देता है।’’

भारत ने 2070 तक राष्ट्रीय स्तर पर शुद्ध शून्य कार्बन उत्सर्जन प्राप्त करने का लक्ष्य रखा है।

भाषा निहारिका रमण

रमण

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)