RBI Bomb Threat| Photo Credit: IBC24 File
RBI Repo Rate Update: नई दिल्ली। भारतीय अर्थव्यवस्था की मजबूत बुनियाद और उसकी तेज रफ्तार को देखते हुए दुनियाभर की बड़ी रेटिंग एजेंसियां भारत की जीडीपी वृद्धि के अनुमान को बढ़ा रही हैं। अभी इस साल नए वित्त वर्ष की बात करें तो अप्रेल माह में कई नियमों में बदलाव किए जाएंगे। इस नए वित्त वर्ष यानी 2024-25 में महंगाई दर 4.5 फीसदी रहने का अनुमान लगाया जा रहा है। वहीं आरबीआई के अनुसार नए वित्त वर्ष की पहली तिमाही में 5 फीसदी रहने का अनुमान है।
रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया की अप्रैल और जून में होने वाली मॉनेटरी पॉलिसी की मीटिंग में बड़ा फैसला लिया जा सकता है। रिपोर्ट के अनुसार आरबीआई अप्रैल और जून की कीमत में रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं करने जा रही है। इसका मतलब है कि आम लोगों को ईएमआई में राहत मिलने के कोई आसार नहीं है। अक्टूबर महीने की मीटिंग में आरबीआई रेपो रेट में कटौती पर फैसला ले सकती है, लेकिन ये महंगाई के आंकड़ों पर डिपेंड करेगा। आपको बता दें कि आरबीआई ले फरवरी 2023 के बाद से आरबीआई के रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया है।
RBI Repo Rate Update: अधिकांश अर्थशास्त्रियों के अनुसार, मजबूत इकोनॉमिक ग्रोथ और अभी भी बढ़ी हुई महंगाई के कारण, भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) कम से कम जुलाई तक ब्याज दरों में कोई बदलाव ना करने की संभावना है, जो कि अमेरिकी फेडरल रिजर्व की अपेक्षा से थोड़ा अधिक है। भारत के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) ने वित्त वर्ष 2024 की अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में आरबीआई और स्ट्रीट अनुमानों को पीछे छोड़ते हुए 8.4 प्रतिशत की दर से वृद्धि की– जो दुनिया की बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में सबसे तेज है। महंगाई, जो अभी भी केंद्रीय बैंक के दो-छह फीसदी लक्ष्य के ऊपरी बैंड के करीब है, का मतलब दर में कटौती की कोई संभावना नजर नहीं आ रही है।