पटना: Bihar Band on New Year बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) की ओर से 13 दिसंबर को आयोजित संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा (सीपीई) के प्रश्नपत्र लीक होने का दावा करने वाले अभ्यर्थियों ने परीक्षा रद्द करने की मांग को लेकर बुधवार को पटना में विरोध-प्रदर्शन किया जिसके बाद भीड़ को तितर बितर करने के लिए पुलिस ने अभ्यर्थियों पर लाठियां चलाईं। अभ्यर्थियों ने दावा किया कि पुलिस कार्रवाई के दौरान कई प्रदर्शनकारी घायल हो गए। बीपीएससी की 70वीं संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा के प्रश्न पत्र लीक मामले में छात्रों के प्रदर्शन के बीच अब राजनीति भी शुरू हो गई है। जहां एक तरफ कांग्रेस ने पुलिस के लाठीचार्ज का वीडियो शेयर करते हुए राज्य सरकार पर हमला बोला है तो वहीं दूसरी तरफ निर्दलीय सांसद पप्पू यादव ने भी परीक्षा रद्द कराने की मांग करते हुए 1 जनवरी को बिहार बंद का ऐलान किया है।
Bihar Band on New Year एक अधिकारी ने बताया कि प्रदर्शनकारियों के एक समूह ने अपनी मांगों को लेकर बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) कार्यालय की ओर कूच किया। उन्होंने बताया, ‘बुधवार को दोपहर बाद अभ्यर्थियों सहित प्रदर्शनकारियों का एक समूह बेली रोड स्थित आयोग के कार्यालय के पास एकत्र हुआ। वे बीपीएससी कार्यालय की ओर बढ़ना चाहते थे, जिसकी पुलिस ने अनुमति नहीं दी। उनमें से कुछ लोग बीपीएससी कार्यालय तक पहुंचने में सफल रहे और यातायात की आवाजाही को बाधित कर दिया।’’ पटना के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) राजीव मिश्रा ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया, ‘सुरक्षाकर्मियों के बार-बार अनुरोध के बावजूद, प्रदर्शनकारियों ने सड़क खाली करने से इनकार कर दिया। यह एक प्रतिबंधित क्षेत्र है, जहां विरोध प्रदर्शन की अनुमति नहीं है। अंत में, प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज सहित हल्का बल प्रयोग किया गया।’
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उन्होंने कहा कि पुलिस ने प्रदर्शनकारियों के खिलाफ एक नया मामला भी दर्ज किया है। प्रदर्शनकारियों के उस दावे कि पुलिस लाठीचार्ज में दो या तीन लोग घायल हुए, उन्होंने कहा, ‘कोई भी प्रदर्शनकारी घायल नहीं हुआ। उन्हें तितर-बितर करने के लिए हल्का बल प्रयोग किया गया।’अभ्यर्थियों के खिलाफ पुलिस कार्रवाई के वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए, जिनमें से कुछ में पुलिस को महिला अभ्यर्थियों सहित प्रदर्शनकारियों का पीछा करते और उन्हें पीटते हुए दिखाया गया। पत्रकारों से बातचीत में कुछ प्रदर्शनकारियों ने आरोप लगाया कि पुलिस ने उनके साथ आतंकवादियों जैसा व्यवहार किया।
एक प्रदर्शनकारी ने कहा, ‘हमें पुलिस ने बेरहमी से पीटा…जैसे कि हम आतंकवादी हों।’ कुछ महिला प्रदर्शनकारी हाथों में चूड़ियां लेकर गर्दनीबाग धरना स्थल पर पहुंचीं। एक महिला प्रदर्शनकारी ने अपना नाम बताए बिना कहा, ‘हम बीपीएससी अधिकारियों के लिए चूड़ियां लेकर आए हैं।’ वहीं एसएसपी ने कहा, ‘गर्दनीबाग में विरोध प्रदर्शन आयोजित करने के लिए स्थान निर्धारित है। पता चला है कि वहां से, उन्होंने (प्रदर्शनकारियों ने) खुद ही एंबुलेंस बुलाई और उनमें से कुछ ने खुद को निकटतम सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया। इस संबंध में पुलिस के पास कोई आधिकारिक जानकारी नहीं है क्योंकि कार्रवाई में कोई घायल नहीं हुआ है।’ अभ्यर्थी कथित प्रश्नपत्र लीक को लेकर बीपीएससी की प्रारंभिक परीक्षा रद्द करने और आयोग से जल्द से जल्द परीक्षा की नयी तारीख घोषित करने की मांग कर रहे हैं। उनका आरोप है कि कुछ केंद्रों पर परीक्षा शुरू होने से पहले प्रश्नपत्र लीक हो गए थे।
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पुलिस लाठीचार्ज पर प्रतिक्रिया देते हुए पूर्णिया से निर्दलीय सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव ने अपने लोकसभा क्षेत्र में संवाददाताओं से कहा कि ‘अगर बीपीएससी 13 दिसंबर की परीक्षा रद्द करने की घोषणा नहीं करता है, तो वह एक जनवरी, 2025 को बिहार बंद का आह्वान करेंगे।’ यादव ने कहा, ‘मैं बीपीएससी की 13 दिसंबर की परीक्षा को तत्काल रद्द करने की मांग करता हूं… अगर इसे एक-दो दिन में रद्द नहीं किया जाता है, तो मेरे समर्थक एक जनवरी 2025 को बिहार बंद का आह्वान करेंगे। प्रदर्शनकारी अभ्यर्थियों पर पुलिस लाठीचार्ज अत्यधिक निंदनीय है।’ बिहार कांग्रेस ने भी बुधवार को बीपीएससी अभ्यर्थियों पर पुलिस लाठीचार्ज की निंदा की। पत्रकारों से बात करते हुए बिहार कांग्रेस प्रवक्ता राजेश राठौर ने कहा, ‘राज्य सरकार और बीपीएससी को छात्रों की मांग माननी चाहिए। हमारी पार्टी अभ्यर्थियों के खिलाफ बुधवार को की गई पुलिस कार्रवाई की निंदा करती है।
हालांकि, बीपीएससी के अध्यक्ष परमार रवि मनुभाई ने मंगलवार को पूरी परीक्षा रद्द करने से इनकार कर दिया था। उन्होंने स्पष्ट किया था कि बीपीएससी सिर्फ 13 दिसंबर को पटना के बापू परीक्षा केंद्र पर परीक्षा में शामिल होने वाले अभ्यर्थियों के लिए फिर से परीक्षा आयोजित करेगा। मनुभाई ने घोषणा की थी कि बापू परीक्षा केंद्र पर परीक्षा में शामिल होने वाले अभ्यर्थियों की पुन: परीक्षा चार जनवरी 2025 को आयोजित की जाएगी। बीपीएससी ने हाल ही में पटना के कुम्हरार इलाके स्थित बापू परीक्षा केंद्र पर आयोजित अपनी संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा रद्द कर दी थी, जहां 13 दिसंबर को ‘उपद्रवी’ अभ्यर्थियों के हंगामा करने के बाद एक अधिकारी की दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई थी।आयोग ने 34 अभ्यर्थियों को ‘कारण बताओ नोटिस’ जारी किया था, जो कथित तौर पर उपद्रवियों में शामिल थे।
अभ्यर्थियों का आरोप है कि 13 दिसंबर को आयोजित बीपीएससी की संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा के कुछ केंद्रों पर परीक्षा शुरू होने से पहले प्रश्नपत्र लीक हो गए थे, जिसके कारण उन्होंने परीक्षा रद्द करने की मांग की है।
अभ्यर्थी बीपीएससी परीक्षा रद्द करने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे थे, जब वे बीपीएससी कार्यालय की ओर बढ़ने लगे तो पुलिस ने उन्हें तितर-बितर करने के लिए हल्का बल प्रयोग किया और लाठीचार्ज किया।
पप्पू यादव ने बीपीएससी की 13 दिसंबर की परीक्षा रद्द नहीं किए जाने पर 1 जनवरी 2025 को बिहार बंद का आह्वान किया है, क्योंकि वह पुलिस लाठीचार्ज और अभ्यर्थियों के साथ हुई बदसलूकी की निंदा करते हैं।
बीपीएससी ने 13 दिसंबर को पटना के बापू परीक्षा केंद्र पर आयोजित परीक्षा को रद्द कर दिया है और वहां के अभ्यर्थियों के लिए पुनः परीक्षा 4 जनवरी 2025 को आयोजित की जाएगी।
बिहार कांग्रेस और पप्पू यादव ने बीपीएससी के खिलाफ पुलिस लाठीचार्ज की निंदा की है और राज्य सरकार से परीक्षा रद्द करने की मांग की है, जबकि बीपीएससी ने पूरी परीक्षा को रद्द करने से इनकार किया है।