रायपुर। CG Assembly Election 2023 मौसम सर्दी का करीब आ रहा है, लेकिन चुनावी तारीख नजदीक आने का साथ-साथ दिन-ब-दिन सियासी पारा चढ़ता जा रहा है। शुक्रवार को BJP के सोशल मीडिया वॉलेंटियर्स की कार्यशाला में शामिल होने पहुंचे, पूर्व केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने एक प्रेस-कॉन्फ्रेंस कर PM आवास योजना, शराबबंदी का अधूरा वायदा, सनातन के अपमान पर मौन क्यों जैसे विषयों पर प्रदेश की भूपेश सरकार को घेरा। प्रसाद ने विपक्षी गठबंधन INDIA के जातिगत जनगणना पर भी करारा प्रहार किया। जवाब में कांग्रेस ने बीजेपी नेताओं को झूठा और चुनावी अवसरवादी बताते हुए पलटवार किया। सवाल ये है कि क्या इस बार प्रदेश के चुनाव में करप्शन बनाम छत्तीसगढ़िया स्वाभिमान के लिए काम पर ही पूरा चुनाव फोकस होगा?
CG Assembly Election 2023 चुनावी समर में भाजपा ने प्रदेश की भूपेश सरकार की चौतरफा घेराबंदी का पूरा प्रबंध कर रखा है। प्रभारी-सह-प्रभारी ने संगठन को टाइट किया, सर्वे के जरिए जमीनी हकीकत टटोली, मोदी-शाह की जनसभाओं से माहौल बनाया, केंद्रीय मंत्रियों ने लगातार दौरे कर प्रदेश में मोदी सरकार की योजनाओं के अधूरे काम के बहाने भूपेश सरकार को फिसड्डी बताया। अब केंद्रीय नेता और प्रवक्ता चुन-चुन कर मुद्दों पर सीधे CM पर तीखे वार कर रहे हैं। इसी क्रम में पूर्व केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने रायपुर पहुंचकर एक प्रेस कांफ्रेंस की। रविशंकर ने कांग्रेस और खासतौर पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल पर जमकर घेरा प्रसाद ने सबसे बड़ा हमला बोला शराबबंदी पर बोला, प्रदेश में शराब बिक्री को नोट बनाने वाला ATM बताया। वहीं CM भूपेश के कैंडी क्रश खेलने पर भी तंज कसते हुए पूछा कि भूपेश बाबू आपको गेमिंग से इतना प्यार क्यों है?
हमला सीधे राज्य की भूपेश सरकार पर था सो जवाब में मोर्चा संभाला प्रदेश के कैबिनेट मंत्री शिव डहरिया ने डहरिया ने कहा कि छत्तसगढ़िया स्वाभिमान और छत्तीसगढ़िया लोगों के हितों के लिए काम करने वाली भूपेश सरकार, भाजपा को हमेशा खटकती रही है। डहरिया ने भाजपा नेताओं पर तंज कसते हुए कहा कि ये नेता पांच साल तो नजर नहीं आए,अब चुनाव के वक्त झूठ परोसने आ रहे हैं लेकिन प्रदेश की जनता सब जानती है।
कुल मिलाकर दोनों खेमों की स्ट्रेटेजी साफ है एक तरफ भाजपा मोदी के चेहरे, केंद्र के काम को आगे रखकर प्रदेश सरकार पर अधूरे वायदे और करप्शन पर घेरकर सत्ता में लौटना चाहती है जबकि कांग्रेस छत्तीसगढ़िया के काम, मान और स्वाभिमान के बूते फिर से सरकार बनाने का दावा करती है। सवाल है क्या यही छत्तीसगढ़ की जनता के असल मुद्दे हैं, क्या प्रदेश की जनता इन्हीं मुद्दों पर वोट करेगी?