(निकोल ली, कर्टिन विश्वविद्यालय)
पर्थ, 15 दिसंबर (द कन्वरसेशन) सीरिया में राष्ट्रपति बशर अल-असद के शासन के पतन के बाद वहां मादक पदार्थ कैप्टागन के बड़े भंडार का खुलासा हुआ है।
माना जा रहा है कि सीरियाई विद्रोहियों ने जिस भंडार का पता लगाया है वह अल-असद सैन्य मुख्यालय से जुड़ा हुआ है। जिससे पता चलता है कि इस मादक पदार्थ के निर्माण और वितरण में सीरियाई शासन की संलिप्तता थी।
लेकिन जैसा कि हमें पता है कैप्टागन का इस्तेमाल एक समय औषधि के तौर पर ठीक वैसे ही होता था, जैसे ‘ध्यान आभाव अतिसक्रियता विकार’ (एडीएचडी) जैसी स्थितियों के उपचार के लिये हम कानूनी रूप से उपलब्ध कुछ दवाओं का आज भी करते हैं।
कैप्टागन कभी एक दवा थी
कैप्टागन एक पुराने सिंथेटिक फार्मास्युटिकल उत्प्रेरक का मूल ब्रांड नाम है जिसे 1960 के दशक में जर्मनी में बनाया गया था। यह एम्फ़ैटेमिन और मेथैम्फेटामाइन का एक विकल्प था। उस समय इन दोनों का इस्तेमाल दवा के रूप में किया जाता था।
इस दवा में सक्रिय घटक फेनेथिलीन है और शुरुआत में एडीएचडी और नींद की बीमारी नार्कोलेप्सी जैसी स्थितियों के उपचार के लिए इसका इस्तेमाल किया गया। इसका उपयोग कानूनी रूप से उपलब्ध कुछ उत्प्रेरक पदार्थों के समान था, जिनका हम आज भी उपयोग करते हैं जैसे कि डेक्साम्फैटामाइन।
कैप्टागन का प्रभाव एम्फ़ैटेमाइन जैसा ही होता है। यह मस्तिष्क में डोपामाइन को बढ़ाता है, जिससे स्वास्थ्य, आनंद और उल्लास की भावनाएं पैदा होती हैं। यह ध्यान, एकाग्रता और सहनशक्ति में भी सुधार करता है। लेकिन इसके कई अवांछित दुष्प्रभाव भी हैं जैसे कि थोड़ा बहुत मनोविकार।
यह दवा मूल रूप से पश्चिम एशिया और यूरोप के कुछ हिस्सों में बेची जाती थी। यह यूरोप में कुछ समय तक काउंटर पर (बिना डॉक्टर के पर्चे के) उपलब्ध थी, उसके बाद में यह केवल डॉक्टर के पर्चे पर लिखे जाने के बाद ही मिलना प्रारंभ हुई।
अस्सी के दशक में इसे प्रतिबंधित पदार्थ घोषित किया गया लेकिन इससे पहले इसे अमेरिका में केवल कुछ समय के लिए ही बिक्री की मंजूरी दी गई थी। कई यूरोपीय देशों में नार्कोलेप्सी के उपचार के लिए इसका इस्तेमाल वैध था।
अंतरराष्ट्रीय स्वापक नियंत्रण बोर्ड के अनुसार कैप्टागन का निर्माण 2009 तक बंद हो गया था।
अवैध व्यापार का कब्ज़ा
अवैध रूप से निर्मित संस्करण को आमतौर पर कैप्टागन कहा जाता है। इसे कभी-कभी ‘रासायनिक साहस’ कहा जाता है क्योंकि माना जाता है कि इसका उपयोग पश्चिम एशिया के युद्धग्रस्त क्षेत्रों में सैनिक ध्यान केंद्रित करने और ऊर्जा पाने के लिए करते हैं।
उदाहरण के लिए, यह इजराइल के साथ संघर्ष में शामिल हमास के लड़ाकों के शवों में पाया गया था। इसका निर्माण अपेक्षाकृत सरल और सस्ता है, जिससे यह काला बाजारी दवा व्यापार के लिए पसंदीदा बन गया।
ब्लैक-मार्केट कैप्टागन अब लगभग विशेष रूप से सीरिया और लेबनान में निर्मित होता है। इसका ज़्यादातर इस्तेमाल पश्चिम एशिया में होता है। कुछ खाड़ी देशों में मनोरंजन के लिए भी इसका इस्तेमाल किया जाता है।
यह सीरिया में सबसे ज़्यादा इस्तेमाल की जाने वाली अवैध दवाओं में से एक है।
एक हालिया रिपोर्ट से पता चलता है कि कैप्टागन ने 2020 से 2022 के बीच सीरिया और लेबनान में 7.3 अरब अमेरिकी डॉलर से अधिक (लगभग 2.4 अरब डॉलर प्रति वर्ष) कमाई की है।
प्रतिबंधित पदार्थों के बारे में हम आमतौर पर यही जानते हैं कि किसी भी जब्ती या विनिर्माण या बिक्री पर कार्रवाई का दवा बाजार पर बहुत सीमित प्रभाव पड़ता है, क्योंकि मांग को पूरा करने के लिए कोई अन्य निर्माता या वितरक सामने आ जाता है।
(द कन्वरसेशन) शोभना प्रशांत
प्रशांत