टोक्यो। ओलंपिक कराने पर अड़े जापान ने अब यू टर्न लिया है। जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे ने कहा है कि कोरोनो वायरस की महामारी के कारण टोक्यो ओलंपिक को स्थगित करना पड़ सकता है। अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति पर बढ़ते दबाव के बाद शिजो आबे ने सोमवार को माना कि कोविड-19 से खतरे को देखते हुए ओलंपिक को स्थगित करने पर फैसला किया जा सकता है। आबे ने कहा कि आईओसी पर भी बाकी के कई देशों के खेल संघ और एथलीट का दबाव है। जापान के पीएम शिंजो आबे के इस बयान के बाद अब यह तो तय माना जा रहा है कि टोक्यो ओलंपिक अपने तय समय से शरू नहीं हो पाएगा। ओलंपिक खेलों का आगाज 24 जुलाई से होना है।
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दुनिया के कई देशों ने ओलंपिक समिति से स्पष्ट कर दिया है कि वो इतने खतरे के बीच अपने खिलाड़ा जापान नहीं भेजेंगे। इन देशों में कनाडा ने साफ कह दिया है कि वह इन खेलों में अपना दल नहीं भेजेगा। आईओसी जापान सरकार वैश्विक खेल अधिकारियों, प्रसारकों और प्रायोजकों से बात करके इस संबंध में आखिरी फैसला लेगी। आईओसी अध्यक्ष थामस बाक ने खिलाडि़यों को पत्र लिखकर बताया है कि इस फैसले में इतना समय क्यों लग रहा है। उन्होंने लिखा कि,
मैं जानता हूं कि इस अभूतपूर्व स्थिति में आपके जेहन में कई सवाल होंगे। मैं जानता हूं कि इस जज्बाती समय में इस तरह का व्यवहारिक रवैया आपको सही नहीं लगेगा
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अमेरिका समेत कई देशों ने ओलंपिक खेलों को स्थगित करने की मांग की है, हालांकि आईओसी अभी तक इस पर अपना रुख साफ नहीं कर पाया है। ऑस्ट्रेलियाई ओलंपिक अधिकारियों ने कहा है कि अब यह साफ है कि टोक्यो ओलंपिक खेल अपने निर्धारित शेड्यूल के अनुसार आगे नहीं बढ़ पाएगा।
इसलिए हमने अपने सभी एथलीट को कह दिया है कि वो अब 2021 ओलंपिक गेम्स की तैयारी करें। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस के कारण देश और विदेश में बदलती परिस्थितियों में ऑस्ट्रेलियाई टीम का एकजुट होना मुश्किल है।अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आईओसी) ने कहा कि खेलों को स्थगित करने हैं या नहीं इस बारे में फैसला करने के लिए चार हफ्ते की आवश्यकता है।