आईएस के आत्मघाती हमले में मारे गए तालिबान के मंत्री के अंतिम संस्कार में हजारों लोग हुए शामिल

आईएस के आत्मघाती हमले में मारे गए तालिबान के मंत्री के अंतिम संस्कार में हजारों लोग हुए शामिल

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  • Publish Date - December 12, 2024 / 08:31 PM IST,
    Updated On - December 12, 2024 / 08:31 PM IST

गरदा सेराई (अफगानिस्तान), 12 दिसंबर (एपी) काबुल में आत्मघाती बम विस्फोट में मारे गए तालिबान के एक मंत्री के अंतिम संस्कार में बृहस्पतिवार को हजारों लोग शामिल हुए। इस हमले की जिम्मेदारी इस्लामिक स्टेट (आईएस) समूह ने ली है।

शरणार्थी एवं प्रत्यावर्तन मंत्री खलील हक्कानी का अंतिम संस्कार पूर्वी अफगानिस्तान के पकतिया प्रांत में किया गया। कैबिनेट सदस्य हक्कानी तीन साल पहले तालिबान के सत्ता पर कब्जा करने के बाद से देश में हुए किसी हमले में मारे गए सबसे प्रमुख नेता हैं।

देश की राजधानी काबुल में बुधवार को शरणार्थी एवं प्रत्यावर्तन मंत्रालय में हुए विस्फोट में उनकी और पांच अन्य लोगों की मौत हो गई।

हक्कानी, कार्यवाहक गृह मंत्री और तालिबान के भीतर एक शक्तिशाली गुट के नेता सिराजुद्दीन हक्कानी के रिश्तेदार थे। अमेरिका ने इन दोनों पर इनाम घोषित किया था।

मंत्री के अंतिम संस्कार में विदेश मंत्री आमिर खान मुत्ताकी और उपप्रधानमंत्री मौलवी अब्दुल कबीर समेत कई उच्च पदस्थ अधिकारी शामिल हुए और इस दौरान सुरक्षा के कड़े प्रबंध किए गए।

हथियारबंद लोगों ने ताबूत की रखवाली की, जिस पर तालिबान का झंडा लपेटा गया था और लाउडस्पीकर के जरिए धर्मोपदेश एवं श्रद्धांजलि दी गई। स्थानीय और अंतरराष्ट्रीय मीडिया को पकतिया के गरदा सेराई जिले में अंतिम संस्कार को कवर करने के लिए आमंत्रित किया गया था।

समाचार संस्था ‘अमाक न्यूज एजेंसी’ द्वारा दिए गए बयान में आईएस से जुड़े संगठन ने कहा कि उसके एक लड़ाके ने आत्मघाती बम विस्फोट को अंजाम दिया। बयान के अनुसार, लड़ाके ने हक्कानी के कार्यालय से बाहर निकलने का इंतजार किया और फिर अपने उपकरण को उड़ा दिया।

हक्कानी के गढ़ पकतिया के एक अधिकारी ने घटना के बारे में अलग जानकारी दी।

अधिकारी ने अपना नाम गोपनीय रखे जाने की शर्त पर कहा कि हमलावर उसकी जांच के दौरान अलार्म बजने के बावजूद मंत्रालय में घुसने में सफल रहा, क्योंकि उसने गार्ड से कहा था कि उसके हाथ में धातु की प्लेट डाली गई हैं। उसने यह भी दावा किया था कि वह शरणार्थी है।

अधिकारी ने कहा कि हक्कानी उनसे मिलने आने वाले शरणार्थियों और विकलांग लोगों के लिए समय निकालते थे क्योंकि वह उनकी दुर्दशा के कारण उनके प्रति सहानुभूति रखते थे।

अधिकारी ने बताया कि मंत्री परिसर की मस्जिद में नमाज अदा करने के बाद मंत्रालय की ओर बढ़ रहे थे कि तभी हमलावर ने बम विस्फोट कर दिया।

अफगानिस्तान में संयुक्त राष्ट्र मिशन और पाकिस्तान सहित अन्य ने इस हमले की निंदा की है।

एपी सिम्मी नेत्रपाल

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