इटली। ‘रेसिया झील’ लोगों के बीच चर्चा का विषय बन चुकी है। झील में एक खोए हुए गांव के अवशेष मिलने के बाद से लोग इसके निर्माण का इतिहास जानकर हैरान हैं! एक रिपोर्ट के मुताबिक, जब कई वर्षों बाद झील की मरम्मत का काम शुरू हुआ तो उसके पानी को अस्थाई रूप से सुखाया गया।
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इसके बाद ही लोगों के सामने दशकों से जलमग्न गांव की तस्वीर आई। बता दें, लेक रेसिया को जर्मन में रेसचेन्सी के नाम से जाना जाता है। यह दक्षिण टायरॉल के अल्पाइन क्षेत्र में स्थित है, जो ऑस्ट्रिया और स्विट्जरलैंड की सीमा में है।
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साल 1950 में पानी में समाने से पहले क्यूरॉन नामक यह गांव सैकड़ों लोगों का घर हुआ करता था। दरअसल, एक हाइड्रोइलेक्ट्रिक प्लांट बनाने के लिए सरकार ने यहां 71 साल पहले एक बांध का निर्माण करवाया, जिसके लिए दो झीलों को मिलाया गया और क्यूरॉन गांव का वजूद मिट गया।
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जब 1950 में गांव के निवासियों की आपत्तियों के बावजूद भी अधिकारियों ने एक बांध बनाने और पास की दो झीलों को मिलाने का फैसला किया तो यह गांव पानी की गहराई में खो गया।
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इसके कारण 160 से अधिक घर जलमग्न हुए, और क्यूरॉन की आबादी विस्थापित हो गई। हालांकि, कुछ लोग आसपास नए गांव बसाकर रहने लगे थे। बता दें, दक्षिण टायरॉल पहले ऑस्ट्रिया का हिस्सा था, लेकिन प्रथम विश्व युद्ध के दौरान इसपर इटली का कब्जा हो गया।