अमेरिका। मिनेसोटा राज्य के मिनियापोलिस शहर में पिछले साल जून में एक प्रीमैच्योर बच्चे का जन्म हुआ था। ये दुनिया का ऐसा पहला बच्चा था, जो सबसे कम समय अपनी मां के कोख में रहा। रिचर्ड स्कॉट विलियम हचिंसन नामक ये बच्चा जन्म के समय मात्र 340 ग्राम का था। इन सभी परिस्थितियों को देखकर डॉक्टर्स ने इसके बचने की संभवना बिलकुल ना के बराबर बताई थी। लेकिन रिचर्ड को जीना था और बीते 5 जून को ये पूरे 1 साल का हो गया। रिचर्ड ने 5 जून को अपना पहला जन्मदिन भी मनाया।
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रिचर्ड का जन्म तो वैसे ही बहुत कम समय में हुआ था, लेकिन दुनियाभर में फैली कोरोना वायरस महामारी ने मुश्किलों को और बढ़ा दिया। कोरोना वायरस से लगे प्रतिबंधों के कारण रिचर्ड के माता-पिता को बच्चे के साथ अस्पताल में रुकने की अनुमति नहीं थी। ऐसे में रिचर्ड के माता-पिता अपने बच्चे से मिलने रोजाना सेंट क्रिक्स काउंटी से मिनियोपोलिस की अस्पताल में आते थे।
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6 महीने अस्पताल में रहने के बाद दिसंबर 2020 में रिचर्ड को घर जाने की अनुमति दी गई थी। हाल ही में 5 जून को पूरे परिवार ने रिचर्ड का जन्मदिन बहुत धूमधाम से मनाया।
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बता दें कि रिचर्ड का नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में जीवित बचे दुनिया के सबसे प्रीमैच्योर बेबी के तौर पर दर्ज है। फिलहाल रिचर्ड के माता-पिता काफी खुश हैं। क्योंकि इस बच्चे ने सभी शारीरिक बाधाओं को पार कर लिया है और अब वो अन्य बच्चों की तरह सामान्य और स्वस्थ है।
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गिनीज बुक के मुताबिक, जन्म के समय रिचर्ड का शरीर इतना छोटा था कि वो अपने माता-पिता की एक हथेली में समा जाता था। रिचर्ड के माता-पिता का कहना है कि हमें आश्चर्य और खुशी है कि मेरे बच्चे ने वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया है। आज रिचर्ड की कहानी पूरी दुनिया जान रही है।