(केजेएम वर्मा)
बीजिंग, 11 दिसंबर (भाषा) चीन की सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीसी) के एक वरिष्ठ मंत्री ने कहा है कि अक्टूबर में रूस में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और राष्ट्रपति शी चिनफिंग के बीच हुई सफल बैठक भारत-चीन संबंधों में ‘‘नयी शुरुआत’’ का संकेत है।
सीपीसी के अंतरराष्ट्रीय विभाग के मंत्री लियू जियानचाओ रूस के कज़ान में ब्रिक्स शिखर सम्मेलन के इतर मोदी व चिनफिंग के बीच हुई बैठक का जिक्र कर रहे थे। सरकारी मीडिया ने बुधवार को खबर दी कि उन्होंने यह टिप्पणी चीन में भारतीय राजदूत प्रदीप कुमार रावत के साथ बातचीत में की।
उन्होंने कहा कि चीन-भारत संबंधों की फिर से शुरुआत करना दोनों देशों के 2.8 अरब लोगों के मौलिक हितों को पूरा करता है और यह ‘ग्लोबल साउथ’ की आम अपेक्षाओं के अनुरूप है तथा इतिहास की सही दिशा के अनुरूप भी है।
लियू ने कहा कि चीन की इच्छा भारत में सभी राजनीतिक दलों के साथ मैत्रीपूर्ण आदान-प्रदान को मजबूत करने, दोनों देशों के नेताओं में अहम मुद्दों पर बनी सहमति को संयुक्त रूप से लागू करने और द्विपक्षीय संबंधों को स्थिर एवं स्वस्थ विकास पथ पर शीघ्र वापस लाने को बढ़ावा देने की है।
दोनों देशों के बीच पूर्वी लद्दाख में चार साल से जारी सैन्य गतिरोध को समाप्त करने पर सहमति बनने के बाद मोदी और चिनफिंग के बीच 24 अक्टूबर को कज़ान में मुलाकात हुई थी। गतिरोध के दौरान दोनों देशों के बीच संबंधों में ठहराव आ गया था।
पांच वर्ष में पहली बार हुई बैठक के दौरान दोनों नेताओं ने पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा पर गश्त और सैनिकों को हटाने के समझौते का समर्थन किया तथा सीमा तंत्र के विशेष प्रतिनिधियों को आगे के कदमों पर चर्चा करने के लिए बैठक करने का निर्देश दिया था।
भाषा नोमान नेत्रपाल
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