संयुक्त राष्ट्र, 28 दिसंबर (एपी) इजराइल ने यमन के एक प्रमुख हवाई अड्डे पर उस समय हवाई हमले किए जब सैकड़ों यात्रियों को ला रहा एक असैन्य ‘एयरबस 320’ विमान उतर रहा था और संयुक्त राष्ट्र का एक प्रतिनिधिमंडल वहां मौजूद था। यमन में मानवीय कार्यों के लिए संयुक्त राष्ट्र के शीर्ष अधिकारी जूलियन हार्नेइस ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
हार्नेइस ने संयुक्त राष्ट्र के संवाददाताओं को बताया कि बृहस्पतिवार को किए गए दो हवाई हमलों की सबसे भयावह बात यह नहीं थी कि इन हमलों का उन पर और यमन की राजधानी सना के अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के ‘वीआईपी लाउंज’ में मौजूद संयुक्त राष्ट्र विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के प्रमुख समेत लगभग 15 अन्य लोगों पर क्या प्रभाव पड़ा, बल्कि सबसे खतरनाक बात यह थी कि हवाई अड्डे के नियंत्रण टावर के नष्ट होने की यह घटना उस समय हुई, जब ‘यमेनिया एयरवेज’ का विमान वहां उतर रहा था।
हमलों के समय डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक टेड्रोस एडनोम घेब्रेयेसस के साथ ‘लाउंज’ में मौजूद हार्नेइस ने कहा, ‘‘सौभाग्य से, विमान सुरक्षित रूप से उतर गया और यात्रियों को सुरक्षित बाहर निकाल दिया गया।’’
उन्होंने कहा कि एक हवाई हमला वीआईपी लाउंज के लगभग 300 मीटर दक्षिण में तथा दूसरा हमला लगभग 300 मीटर उत्तर में शाम पौने पांच बजे हुआ। हमले के समय संयुक्त राष्ट्र के दल के लगभग पांच सदस्य इमारत के बाहर थे।
संयुक्त राष्ट्र ने कहा कि हमले में कम से कम तीन लोग मारे गए और दर्जनों लोग घायल हो गए।
उसने बताया कि घायलों में संयुक्त राष्ट्र मानवीय वायु सेवा विमान के चालक दल का एक सदस्य भी शामिल है। यह विमान संयुक्त राष्ट्र के लगभग 20 लोगों के प्रतिनिधिमंडल को सना से बाहर ले जाने वाला था।
एपी सिम्मी प्रशांत
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