मॉरीशस के राष्ट्रीय दिवस पर आईएनएस इंफाल के ‘डेक’ आम जनता के लिए खोले गए

मॉरीशस के राष्ट्रीय दिवस पर आईएनएस इंफाल के ‘डेक’ आम जनता के लिए खोले गए

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  • Publish Date - March 12, 2025 / 03:16 PM IST,
    Updated On - March 12, 2025 / 03:16 PM IST

पोर्ट लुइस, 12 मार्च (भाषा) भारतीय नौसेना के दुर्जेय विध्वंसक पोत ‘आईएनएस इंफाल’ के मॉरीशस पहुंचने के कुछ दिन बाद बुधवार को मॉरीशस के 57वें राष्ट्रीय दिवस समारोह के मौके पर वहां के लोगों के लिए इसके ‘डेक’ खोल दिये गये।

यह पोत बड़ी संख्या में आने वाले उन लोगों का स्वागत करेगा जो भारतीय नौसेना के सबसे उन्नत युद्धपोतों में से एक का अवलोकन करने के लिए उत्सुक हैं।

यह युद्धपोत राष्ट्रीय दिवस समारोह के मौके पर सद्भावना यात्रा के तहत 10 मार्च को पोर्ट लुइस पहुंचा था। यह भारतीय नौसेना की उस टुकड़ी का हिस्सा है जिसने यहां राष्ट्रीय दिवस परेड में भाग लिया।

परेड में भारतीय नौसेना की ओर से एक मार्चिंग दस्ते और नौसेना बैंड ने हिस्सा लिया। इसके अलावा आईएनएस इंफाल के जरिए लाए गए दो उन्नत बहु-उद्देशीय हेलीकॉप्टर ने ‘फ्लाईपास्ट’ किया।

यह पोत 14 मार्च तक पोर्ट लुइस में रहेगा।

आईएनएस इंफाल के ‘कमांडिंग ऑफिसर’ कैप्टन कमल के चौधरी ने एक विशेष साक्षात्कार में कहा कि परेड में भारत का प्रतिनिधित्व करना ‘‘बहुत गर्व और सम्मान की बात’’ है।

उन्होंने कहा, ‘‘यह मॉरीशस के राष्ट्रीय दिवस समारोह में भारतीय युद्धपोतों और विमानों की भागीदारी की हमारी लंबे समय से जारी परंपरा के अनुरूप है।’’

कैप्टन चौधरी ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘परेड के अलावा हम कई प्रशिक्षण और सांस्कृतिक कार्यक्रमों में भाग ले रहे हैं।’’

आईएनएस इंफाल चार ‘प्रोजेक्ट 15बी’ (विशाखापत्तनम श्रेणी) स्वदेशी विध्वंसक पोतों में से तीसरा पोत है जिसे भारतीय नौसेना ने तैयार किया है और इसका निर्माण मुंबई स्थित मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड ने किया।

उन्होंने कहा, ‘‘यह एक बहु-उद्देश्यीय विध्वंसक है जो सभी चार क्षेत्रों – सतह रोधी, हवाई रोधी, पनडुब्बी रोधी और इलेक्ट्रॉनिक युद्ध में सक्षम है।’’

इससे पहले, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मॉरीशस के प्रधानमंत्री नवीन चंद्र रामगुलाम के बीच द्विपक्षीय प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता के बाद, दोनों देशों ने भारतीय नौसेना और मॉरीशस पुलिस बल के बीच श्वेत नौवहन सूचना (वाणिज्यिक एवं गैर-सैन्य पोतों की पहचान और आवाजाही के बारे में जानकारी) साझा करने संबंधी एक समझौते पर हस्ताक्षर किए।

मोदी ने कहा कि भारत-मॉरीशस के विशेष संबंधों ने भारत के ‘सागर’ (क्षेत्र में सभी के लिए सुरक्षा और विकास) दृष्टिकोण और ‘ग्लोबल साउथ’ के साथ उसके जुड़ाव में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

‘ग्लोबल साउथ’ शब्द का इस्तेमाल आमतौर पर आर्थिक रूप से कम विकसित देशों को संदर्भित करने के लिए किया जाता है।

भाषा सिम्मी देवेंद्र

देवेंद्र