नई दिल्लीः Government announces closure of schools and colleges भारत समेत कई देशों में सरकारी नौकरियों में आरक्षण एक बड़ा मुद्दा है। अलग-अलग वर्गों को जीवन स्तर को उपर उठाने के लिए लागू किए गए आरक्षण के लिए कई जगहों पर बड़े आंदोलन हुए हैं। कई जगहों पर तो हिंसा तक भड़क जाती है। कुछ ऐसा ही इन दिनों बांग्लादेश में हो रहा है। यहां के लोग आरक्षण प्रणाली में सुधार की मांग कर रहे हैं। प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच हिंसक झड़प हुई। अज्ञात लोगों ने दो बसों को आग लगा दी। कई हिस्सों में हिंसक झड़पें हुईं हैं, जिससे सड़कों पर जाम लग गया और हजारों लोग सड़कों पर फंस गए। इसमें तीन छात्रों सहित छह लोगों की मौत हो गई। जबकि 100 से ज्यादा लोग घायल हो गए। प्रदर्शन को देखते हुए बांग्लादेश की सरकार ने देश के प्रत्येक हाई स्कूल, इस्लामिक मदरसा और व्यावसायिक संस्थान को मंगलवार को अनिश्चित काल के लिए बंद करने का आदेश दिया है।
Government announces closure of schools and colleges इसकी घोषणा करते हुए सरकार के शिक्षा मंत्रालय ने प्रवक्ता एम. ए. खैर ने एएफपी को बताया, “छात्रों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए सभी हाई स्कूल, कॉलेज, इस्लामिक मदरसे और पॉलिटेक्निक संस्थान अगले आदेश तक बंद रहेंगे।” देशभर के सार्वजनिक विश्वविद्यालयों के परिसरों में रातभर हिंसा भड़कने के बाद अधिकारियों ने मंगलवार को चार प्रमुख शहरों में अर्द्धसैनिक बॉर्डर गार्ड बांग्लादेश (बीजीबी) के जवानों को बुला लिया।
हिंसा ने आमतौर भीड़भाड़ वाली राजधानी को लगभग खाली कर दिया। शहर में अज्ञात लोगों ने दो बसों को आग लगाई गई, जब कई हिस्सों छिटपुट हिंसक झड़पें हुईं। जिससे सड़कों पर जाम लग गया और हजारों लोग सड़कों और अपने कार्यस्थलों पर फंस गए। सोमवार को झड़पें तब शुरू हुईं, जब सत्तारूढ़ अवामी लीग की छात्र शाखा के कार्यकर्ताओं का प्रदर्शनकारियों से आमना-सामना हुआ। प्रदर्शनकारियों इस बात पर जोर दे रहे थे कि मौजूदा आरक्षण प्रणाली सरकारी सेवाओं में मेधावी छात्रों के नामांकन पर रोक लगा रही है। उन्होंने सत्तारूढ़ पार्टी की छात्र शाखा बांग्लादेश छात्र लीग पर पुलिस की मदद से उनके शांतिपूर्ण प्रदर्शन पर हमला करने का आरोप लगाया।
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