वाशिंगटन। व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कायले मैकनेनी ने बयान जारी करते हुए कहा है कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का मानना है कि भारत और क्षेत्र में अन्य देशों के खिलाफ बीजिंग का आक्रामक रवैया चीन की कम्युनिस्ट पार्टी का असली चेहरा है। भारत और चीन के सैनिकों के बीच पूर्वी लद्दाख में हुई हिंसक झड़प पर उन्होंने कहा कि अमेरिका स्थिति पर करीबी नजर बनाए हुए है और उसके शांतिपूर्ण समाधान का समर्थन करता है।
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मैकनेनी ने कहा, भारत और चीन के संबंध में, हम स्थिति पर करीबी नजर रख रहे हैं। राष्ट्रपति भी ऐसा ही कर रहे हैं और उनका कहना है कि चीन दुनिया के अन्य हिस्सों में जिस तरह की आक्रामकता दिखा रहा है, वैसा ही आक्रामक रवैया उसने भारत-चीन सीमा पर अपनाया है। ये हरकतें चीन की कम्युनिस्ट पार्टी के असली चेहरे को दिखाती हैं।
With regard to India & China,we’re closely monitoring the situation. Both India&China have expressed desire to de-escalate. We support a peaceful resolution of current situation: White House press secy Kayleigh McEnany on US President’s take on India banning 59 Chinese apps (1/2) pic.twitter.com/znUExO6MFP
— ANI (@ANI) July 1, 2020
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इससे पहले अमेरिका के कई सांसद भी वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएससी) पर चीन के रवैये को लेकर चिंता व्यक्त कर चुके हैं। कोरोना वायरस और अमेरिका-चीन संबंधों पर सुनवाई के दौरान ‘हाउस सेलेक्ट इंटेलिजेंस कमेटी’ के अध्यक्ष एवं सांसद एडम शिफ ने कहा, पिछले एक महीने में, चीन वास्तविक नियंत्रण रेखा पर हिंसक झड़प में लिप्त है, जिसके परिणामस्वरूप भारत के कई जवान मारे गए हैं और चीन के सैनिक भी हताहत हुए हैं हालांकि उसने उनकी संख्या के बारे में कोई जानकारी नहीं दी है।
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इससे पहले, बुधवार को इस मामले में अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पियो ने भारत के फैसले पर कहा कि भारत का एप्स को हटाने का दृष्टिकोण भारत की संप्रभुता को बढ़ावा देगा और अखंडता और राष्ट्रीय सुरक्षा को बढ़ावा देगा। गौरतलब है 15 जून को गलवां घाटी में हुई खूनी झड़प में भारत के 20 सैनिकों की शहादत के बाद से भारत और चीन के बीच में तनाव बढ़ गया है, भारत में भी जनता लगातार चीन के सामानों के बहिष्कार समेत कई आंदोलन चला रही है। भारत सरकार ने टिकटॉक समेत चीन के कुल 59 एप्स पर प्रतिबंध लगा दिया है।