जब शुक्र अपनी राशि या उच्च की राशि में रहता है तो मालव्य योग का निर्माण होता है। एक राशि में शुक्र करीब 28 दिनों तक रहता है। 18 सितंबर को शुक्र तुला राशि में प्रवेश करने वाले हैं।
शुक्र यदि कुंडली में लग्न अथवा चन्द्रमा से 1, 4, 7 अथवा 10वें घर में वृष, तुला अथवा मीन राशि में स्थित है तो कुंडली में मालव्य योग बनता है। जिसे बहुत ही शुभ माना जाता है।
मालव्य योग से सुख, सुविधा और ऐश्वर्य बढ़ जाता है। जातक सौंदर्य, कला, काव्य, गीत, संगीत, फिल्म और इसी तरह के कार्यों में वह सफलता अर्जित करता है।
मालव्य योग का जातक सौंदर्य और कला प्रेमी होता है। काव्य, गीत, संगीत, फिल्म, कला और इसी तरह के कार्यों में वह सफलता अर्जित करता है।
मेष राशि : आपकी राशि के सातवें भाव में इस योग का निर्माण होगा। इसके परिणाम स्वरूप आपको कार्यक्षेत्र यानी नौकरी या व्यापार दोनों में से आप कुछ भी करते हैं तो आपको अपार लाभ मिलने की संभावना है।
तुला राशि : आपकी कुंडली के लग्न भाव में इस योग का निर्माण आपके व्यक्तित्व को और आकर्षक बनाएगा। धर्म कर्म में आपकी रुचि बढ़ेगी। कार्यस्थल पर अधिक लाभ होने के संकेत हैं। आर्थिक तंगी दूर होगी जिसके चलते आप अपनी ज़रूरतों पूरा कर पाएंगे।
धनु राशि : आपकी राशि के ग्यारहवें भाव में यह योग निर्मित हो रहा है जिसके कारण यह कई तरह के लाभ पहुंचाने का काम करेगा। अचानक से कहीं से धन की प्राप्ति होने की संभावना है। इसके अतिरिक्त नौकरीपेशा जातकों के लिए यह समय उत्तम रहेगा।
ज्योतिष संबंधी किसी भी प्रयोग से पहले विशेषज्ञ की सलाह अवश्य लें। इसे जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है जिसका कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है।