मथुरा, सात जुलाई (भाषा) उत्तर प्रदेश के मथुरा में इस्कॉन वृंदावन द्वारा भगवान जगन्नाथ की ‘रथ यात्रा’ निकाली गई, जिसको लेकर जबरदस्त उत्साह देखा गया। एक अधिकारी ने रविवार को यह जानकारी दी।
जिला प्रशासन के एक अधिकारी ने बताया कि रविवार को मथुरा में इस्कॉन-वृंदावन द्वारा निकाली गई भगवान जगन्नाथ की ‘रथ यात्रा’ को लेकर लोगों में जबरदस्त उत्साह देखा गया। यह यात्रा मथुरा के प्रमुख मार्गों से होकर गुजरी।
जिलाधिकारी शैलेंद्र सिंह ने बताया कि ‘रथ यात्रा के दौरान किसी अप्रिय घटना की सूचना नहीं मिली।’
इस्कॉन-वृंदावन के जनसंपर्क अधिकारी ( पीआरओ) रवि लोचन दास ने इसका वर्णन सुनाते हुए कहा, ‘रथ यात्रा भगवान जगन्नाथ के अपनी मौसी के घर जाने का प्रतीक है। इस उत्सव में तीन विशाल रथों पर भगवान जगन्नाथ, भगवान बलभद्र और देवी सुभद्रा को जगन्नाथ मंदिर से गुंडिचा मंदिर (पुरी में) ले जाया जाता है।’
इस्कॉन के एक अधिकारी के अनुसार, इस्कॉन के संस्थापक भक्ति वेदांत स्वामी प्रभुपाद ने कहा था कि रथ को खींचने और भगवान जगन्नाथ का नाम जपने से मोक्ष का द्वार खुल जाता है।
रथ यात्रा में समाज के विभिन्न वर्गों के लोगों ने हिस्सा लिया। रविवार अपराह्न करीब छह किलोमीटर की यात्रा में लोगों और श्रद्धालुओं ने यात्रा का स्वागत किया। इस दौरान न केवल इमारतों की छतों से गुलाब की पंखुड़ियां बरसाई गईं, बल्कि रथ खींचने के लिए मानो होड़ लग गई।
अधिकारियों ने बताया कि राधा आर्किड पर यात्रा के समापन पर हर श्रद्धालु को छप्पन भोग प्रसाद दिया गया। बांके बिहारी मंदिर के पुजारी ज्ञानेंद्र गोस्वामी ने बताया कि वृंदावन में भगवान जगन्नाथ मंदिर, बांके बिहारी मंदिर, वृंदावन के सात प्राचीन मंदिरों, श्रीकृष्ण जन्मस्थान स्थित मंदिरों और मथुरा के द्वारकाधीश मंदिर में भी रथ यात्रा उत्सव मनाया गया।
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