मनीष नरवाल बनना चाहते थे फुटबॉलर, दिव्यांगता की चुनौतियों को परास्त कर बने ‘गोल्ड विजेता’

Manish Narwal wanted to become a footballer, defeated the challenges of disability and became a 'gold winner'

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  • Publish Date - September 4, 2021 / 01:02 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 09:01 PM IST

Tokyo olympics Manish Narwal

टोक्यो, जापान। टोक्यो पैरालंपिक में मनीष नरवाल ने P4 मिक्स्ड 50 मीटर पिस्टल एसएच-1 में गोल्ड जीतने वाले मनीष नरवाल फुटबॉलर बनना चाहते थे, लेकिन दिव्यांगता की चुनौतियां थी, मगर ये चुनौतियां मनीष के एथलीट बनने के इरादे को डिगा नहीं सकी।

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मनीष ने पिता और सहयोगियों की सलाह पर 2016 में शूटिंग में करियर बनाने का फैसला किया। नरवाल ने हरियाणा के फरीदाबाद में शूटिंग करनी शुरू की।

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इसके बाद उन्होंने कभी पीछे पलटकर नहीं देखा। नरवाल कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय प्रतिस्पर्धाओं में जीत हासिल कर चुके हैं।

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टोक्यो पैरालंपिक में उन्होंने फाइनल में 218.2 स्कोर के साथ पहला स्थान हासिल किया। खास बात ये रही कि इस इवेंट में दूसरे नंबर पर भी भारतीय एथलीट सिंहराज दूसरे स्थान पर रहे और उन्होंने सिल्वर जीता।