सदन में गांधी पर चर्चा के दौरान हंगामा, सीएम कहा ने गांधी पर सत्र छत्तीसगढ़ की उपलब्धि, सावरकर पर साधा निशाना

सदन में गांधी पर चर्चा के दौरान हंगामा, सीएम कहा ने गांधी पर सत्र छत्तीसगढ़ की उपलब्धि, सावरकर पर साधा निशाना

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  • Publish Date - October 3, 2019 / 10:38 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 07:57 PM IST

रायपुर। दो दिवसीय विधानसभा सत्र के अंतिम दिन आज मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सदन में गांधी पर चर्चा के समापन पर अपने संबोधन में क​हा कि सदन में नए सदस्यों को सुनना चाहिए। विषयों पर अध्ययन किया जाना चाहिए, 4 घंटे पढ़ेंगे तो 10 मिनट बोल पाएंगे। किताब एक ही है उससे हर कोई अध्ययन कर अपने मतलब की चीजें समझता है।

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इसके साथ ही सीएम ने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा को यह श्रेय जाता है कि गांधी पर दो दिनों की चर्चा बुलाई गई, यह छत्तीसगढ़ की उपलब्धि है। उन्होने कहा कि किसी भी सदस्य ने गांधी की विचारधारा का कोई विरोध नहीं किया ये अच्छी बात है। विधायक शिवरतन शर्मा ने कहा था कि गांधी आरएसएस की शाखाओं में जाते थे, दरअसल गांधी अपने विरोधियों के पास भी जाते थे।

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उन्होने कहा कि विधायक बृजमोहन अग्रवाल और नेता प्रतिपक्ष ने अपने भाषण में कहा कि सरकार गांधी के बताए रास्ते पर नहीं चल रही, अब मैं 9 महीने का हिसाब दूं या फिर 15 सालों की समीक्षा करूं। हम सब यहां है तो गांधी की विचारधारा की वजह से ही हैं। हमें आजीविका का अधिकार, शिक्षा का अधिकार कांग्रेस की सरकार से सम्भव हो पाया है। बुद्ध और गांधी की करुणा में कोई अंतर नहीं था। उन्होने कहा कि इन सबमें गंभीर राष्ट्रवाद के तत्व छिपे हुए हैं, इतिहास गवाह है कि सावरकर छिपकर मारने से पीछे नहीं हटते थे।

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इस बीच विधायक शिवरतन शर्मा ने कहा वीर सावरकर को बाइज्जत बरी किया गया था। अजय चंद्राकर ने भूपेश बघेल के शब्दों को विलोपित करने की मांग की। जवाब में सीएम भूपेश बघेल ने कहा मैं अपने शब्द वापस नहीं लूंगा। इसके बाद सदन में भारी हंगामा हुआ। पक्ष-विपक्ष के सदस्यों में भारी शोरगुल के बीच बीजेपी सदस्यों ने सदन की कार्यवाही से बहिर्गमन किया।

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वहीं सीएम बघेल ने कहा सच सुनने का साहस होना चाहिए। सावरकर ने 13 बार अंग्रेजों से माफी मांगी थी। वापस लौटने के बाद सावरकर कभी किसी आंदलोन का हिस्सा नहीं बने। गांधी ने अस्पृश्यता के खिलाफ लड़ाई लड़ी, शिक्षा को लेकर लड़ाई लड़ी। समाज की कुरीतियों के खिलाफ लड़ाई लड़ी। अंग्रेज उन्हें बार बार जेल में डालते रहे, लेकिन क्या वजह है कि गोडसे ने उनकी हत्या की? उस वक्त जब हत्या हुई तो रेडियो में कहा जा रहा था एक पागल व्यक्ति ने हत्या कर दी। वह पागल नहीं था, एक विचारधारा से जुड़ा था, आज विचारधारा की लड़ाई चल रही है।

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इसके बाद विधानसभा की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित हो गई। दो दिवसीय विधानसभा का विशेष सत्र अनिश्चितकाल के लिए स्थगित हो गया।