नई दिल्ली, Vinod kambli Latest Interview: पूर्व भारतीय क्रिकेटर विनोद कांबली एक बार फिर चर्चा में हैं। हाल ही उन्होंने अपने कोच रमाकांत आचरेकर से जुड़े कार्यक्रम में हिस्सा लिया था। इस दौरान वह सचिन तेंदुलकर से भी मिले और एक गाना (सर जो तेरा चकराए… ) भी गुनगुननाया था। यह कार्यक्रम 6 दिसंबर को मुंबई के शिवाजी पार्क में आयोजित हुआ था।
आपको बता दें कि इस कार्यक्रम के कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुए थे। सचिन-कांबली की मुलाकात के वीडियो से कई तरह की बाते सामने आ रही थी। यहां पर कांबली ने जिस तरह गाना गुनगुनाया उससे लोगों को लगा कि वह शायद ठीक नहीं हैं। विनोद कांबली की हालत खराब दिखी थी, वह बात करते हुए भी परेशाीन में दिखाई पड़ रहे थे।
जिसके बाद अब विनोद कांबली ने सचिन के साथ मुलाकात, रमाकांत आचरेकर संग सबंध, पत्नी एंड्रिया कांबली को लेकर बात की। इस इंटरव्यू के दौरान खुद की बीमारियों पर भी चर्चा की। कांबली ने इटरव्यू के दौरान कहा कि उन्होंने फिल्मों में भी अपना भाग्य आजमाया, लेकिन सफल नहीं हुए। उन्होंने कहा कि उन्हे गाना सुनना बेहद पसंद था। कांबली ने दिलीप कुमार को अपना फेवरेट एक्टर बताया और कहा कि उन्होंने दिलीप कुमार को नजदीक से देखा था।
विनोद कांबली ने एक यूट्यूब चैनल के इंटरव्यू में बेबाक तरीके से अपनी बात रखी। इस दौरान उन्होंने अपने जीवन से जुड़े कई अहम पहलुओं पर बात की। वहीं उन्होंने यह भी कहा कि उनकी तबीयत फिलहाल ठीक है। हाल ही में हुए रमाकांत आचरेकर स्मारक अनावरण समारोह में गाना गाने की बात पर कांबली बोले- वो गाना (सर जो तेरा चकराए…) उनके कोच रमाकांत आचरेकर का फेवरेट गीत था।
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पूर्व क्रिकेटर विनोद कांबली ने इस इंटरव्यू में पत्नी एंड्रिया कांबली की खूब तारीफ की। उन्होंने कहा- मेरी बीवी बहुत ख्याल रखती है, पत्नी ने उनको तीन हॉस्पिटल में दिखाया। इंटरव्यू में उन्होंने अपनी पत्नी की उस बात को याद करते हुए कहा, जिसमें एंड्रिया ने कहा था- ‘तेरे को फिट होकर आना है…’ वैसा ही आया मैं। ऐसी बीवी पाना मुश्किल है। कांबली ने कहा कि उनसे हाल में अजय जडेजा मिलने आए थे। जडेजा जब मिलने आए तो मुझे बहुत अच्छा लगा। मेरे दोस्त मिलने आ रहे हैं।
विनोद कांबली ने इस दौरान कहा कि वह यूरीन प्रॉब्लम से जूझ रहे हैं। यह परेशानी एक महीने से बनी हुई है। इस दौरान उनको चक्कर आया था और वह घर पर ही गिर गए थे। उसके बाद उनके बेटे ने उन्हें उठाया। डॉक्टर घर आए और फिर उनको एडमिट किया गया।
विनोद कांबली ने इस दौरान 2013 में हुए दो हार्ट अटैक के बारे में भी बताया। तब वह ड्राइविंग करते वक्त गिर गए थे। कांबली ने कहा तब वह चेंबूर से बांद्रा जा रहे थे। तब उनकी पत्नी साथ में ही थी, लेकिन वह भी उनकी हालत देख रोने लगी थी।
इस इंटरव्यू के दौरान उनसे पूछा गया कि क्या उनका यह हाल शराब पीने की वजह से और ज्यादा पार्टी की वजह से हुआ? इस पर कांबली ने थोड़े लड़खड़ाते हुए बोले- छह महीने से शराब पीना बंद कर दिया है। उन्होंने इस दौरान यह भी माना कि पहले वो बहुत ज्यादा शराब पीते थे। पहले वह ड्रेसिंग रूम में भी ज्यादा भड़क जाते थे।
इस इंटरव्यू के दौरान कांबली ने सचिन के साथ दोस्ती के बारे में बात की। उन्होंने हाल में हुई मुलाकात का भी जिक्र किया। कांबली ने 2009 में सचिन पर एक बयान दिया था, जिसमें कहा गया था कि सचिन ने मदद नहीं की, ऐसा क्यों कहा? इस पर कांबली ने कहा- यह बयान उन्होंने तब फ्रस्टेशन में दे दिया था कि सचिन ने हेल्प नहीं की। गुस्से या इमोशन में ऐसा कहा था।
अब इंटरव्यू में उन्होंने कहा सचिन ने बहुत हेल्प की है। पैसे से भी मदद की। 2013 में दो ऑपरेशन लीलावती हॉस्पिटल में हुए। इसमें सचिन ने ही मदद की। 2009 की नाराजगी के बाद विनोद कांबली ने कहा कि उन्होंने ही सबसे पहले सचिन को कॉल की थी, इसके बाद चीजें फिर से सामान्य हो गईं। फिर हम दोनों में बात हो गई।
सचिन-कांबली की मुलाकात के वीडियो से कई तरह के मतलब निकाले गए, लेकिन अब कांबली ने कहा सचिन ने उनकी कई बार मदद की, 2013 में दो ऑपरेशन लीलावती हॉस्पिटल में हुए. इसमें सचिन ने ही मदद की. #VinodKambli #SachinTendulkar pic.twitter.com/btwFgcSHmt
— Krishan Kumar
(@krishanofficial) December 13, 2024
विनोद कांबली ने इस इंटरव्यू में अपने 2 बच्चों के बारे में भी बात की। बोले बेटा जीसस क्रिस्टियानो कांबली 14 साल का है। बेटी 10 साल की है। जीसस क्रिस्टियानो का क्रिकेट में शौक है, वह लेफ्ट हैंडर है। वह बिंदास है वो, मेरे जैसा खेलता है, और वह पहली गेंद से ही हिट करता है। वो भी टीम में आएगा।
विनोद कांबली ने कहा कि उनके करियर में मुंबई के वानखेड़े स्टेडियम में आया डबल हंड्रेड सबसे ज्यादा यादगार था। उनकी 224 रनों की पारी इंग्लैंड के खिलाफ आई थी। क्योंकि उस मैच के दौरान आचरेकर (रमाकांत आचरेकर) सर देखने आए थे। उस समय की टीम में यादगार थी, इस दौरान कांबली ने अनिल कुंबले और राजेश चौहान को याद किया। वहीं, मुरलीधरन को लेकर कांबली ने कहा कि वह उससे मजाकिया अंदाज में कहते थे कि अपना हाथ तो सीधा कर…
विनोद कांबली ने बताया कि सौरव गांगुली, राहुल द्रविड़ ने मिडिल ऑर्डर में जगह बना ली थी। इस कारण उनकी वापसी थोड़ी मुश्किल हुई, हालांकि, इसके बावजूद उन्होंने टीम इंडिया में 10 बार कमबैक किया, जो काम आसान नहीं था।
विनोद कांबली ने बताया कि उनका फेवरेट शॉट था निकलो और मारो, वह स्ट्रेट खेलना पसंद करते थे। वहीं उन्होंने इस दौरान शेन वॉर्न के उस ओवर की कहानी भी बताई जब उन्होंने 22 रन मारे थे। कांबली ने कहा, वो (वॉर्न) मेरा दोस्त था.. पहला बॉल डाला, गाली दी। इसके बाद मैंने बैट से जबाव दिया।
विनोद कांबली ने शेन वॉर्न के एक ओवर में 22 रन बटोरे थे, जब 1994 में पेप्सी ऑस्ट्रल-एशिया कप के पहले सेमीफाइनल में ऑस्ट्रेलिया और भारत के बीच मुकाबला हुआ था। शारजाह में हुए टूर्नामेंट के इस मैच के 45वें ओवर में कांबली ने वॉर्न को दो छक्के और इतने ही चौके मारे थे। कांबली 28 (17 गेंद) रन बनाकर नाबाद लौटे और भारत ने 245 रनों का लक्ष्य महज तीन विकेट खोकर हासिल कर लिया था।
विनोद कांबली ने इस इंटरव्यू के दौरान माना कि उनकी फाइनेंशियल कंडीशन खराब है। लेकिन उनकी पत्नी ने चीजों को संभाल रखा है। कपिल देव और कई लोग मदद के लिए आग आए हैं।
कांबली ने हंसते हुए कहा कि सुनील गावस्कर सबसे पहले बोले क्योंकि वह ओपनर थे। वह रिहैब में जाने केा तैयार हैं। वहीं उन्होंने यह भी बताया कि मदद के लिए सबसे पहले फोन तो अजय जडेजा का आया था। वहीं उन्होंने कहा वह भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) के टच में हैं। उन्हें विश्वास है कि बीसीसीआई भी आगे आएगा। इंटरव्यू के अंत में कांबली ने कहा कि वह जल्द वापसी करेंगे।
कभी कांबली-सचिन एक साथ कोच रमाकांत आचरेकर के मार्गदर्शन में शिवाजी पार्क में क्रिकेट खेलते थे। विनोद कांबली ने डेब्यू के बाद टीम इंडिया के लिए आतिशी बल्लेबाजी जारी रखी और शुरुआती 7 मैचों में ही 4 शतक लगा दिए, जिसमें से दो दोहरे शतक थे। वहीं उन्होंने भारत के लिए टेस्ट मैचों में सबसे तेज 1000 रन भी पूरे किए। कुल मिलाकर 14 पारी में। उनका यह रिकॉर्ड तोड़ने के काफी करीब यशस्वी जायसवाल आए थे, लेकिन उन्होंने 16 पारियों में ऐसा किया था।
कांबली ने टीम इंडिया के लिए 1991 में वनडे से डेब्यू किया था, जबकि 2000 में आखिरी वनडे खेला था। कांबली ने 104 वनडे और 17 टेस्ट मैच खेले। उन्होंने कुल 3561 इंटरनेशनल रन बनाए हैं।
अक्टूबर 2000 के बाद विनोद कांबली को भारत की वनडे टीम में नहीं चुना गया। उनका आखिरी वनडे मुकाबला श्रीलंका के खिलाफ शारजाह में था। साल 2009 में कांबली ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कह दिया, जबकि 2011 में फर्स्ट क्लास क्रिकेट से संन्यास की घोषणा की।
बाएं हाथ के बल्लेबाज कांबली ने टेस्ट में 54.20 की औसत से 1084 रन बनाए, जिसमें चार शतक और तीन अर्धशतक शामिल रहे। वहीं वनडे इंटरनेशनल में उन्होंने 32.59 के एवरेज से 2477 रन बनाए। वनडे इंटरनेशनल में कांबली के बल्ले से दो शतक और 14 अर्धशतक निकले हैं।
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विनोद कांबली ने माना कि उनकी आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है। हालांकि, उनकी पत्नी एंड्रिया ने परिवार को संभाला है, और कपिल देव सहित कई लोग उनकी मदद के लिए आगे आए हैं।
हां, विनोद कांबली ने इंटरव्यू में बताया कि उन्होंने 2009 की नाराजगी के बाद सबसे पहले सचिन को फोन किया था। अब दोनों के बीच सब सामान्य है, और सचिन ने उनके ऑपरेशन के समय भी आर्थिक मदद की थी।
कांबली ने बताया कि उन्हें दो बार हार्ट अटैक आया है और हाल ही में वह यूरीन प्रॉब्लम से परेशान थे। लेकिन अब उनकी तबीयत ठीक है, और वह जल्दी ठीक होकर वापसी की उम्मीद कर रहे हैं।
जी हां, विनोद कांबली का बेटा जीसस क्रिस्टियानो कांबली क्रिकेटर बनने का शौक रखता है। वह लेफ्ट-हैंड बल्लेबाज है और अपने पिता की तरह बिंदास खेलता है।
कांबली ने अपने करियर का सबसे यादगार पल वानखेड़े स्टेडियम में इंग्लैंड के खिलाफ बनाया गया दोहरा शतक बताया। इस मैच को आचरेकर सर ने भी देखा था।