नयी दिल्ली, 21 नवंबर (भाषा) भारत को ऑस्ट्रेलिया में लगातार दो श्रृंखला जीतने में मार्गदर्शन करने वाले रवि शास्त्री ने मौजूदा मुख्य कोच गौतम गंभीर को सलाह दी है कि वे पांच टेस्ट मैच की श्रृंखला के दौरान ‘शांत रहें’ और ‘बिना सोचे-समझे प्रतिक्रिया करने से बचें’।
पहले ही अपने आक्रामक व्यवहार के लिए मशहूर गंभीर को हाल ही में कुछ पूर्व ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटरों ने तुनकमिजाज करार दिया है। जुलाई में कोचिंग का कार्यभार संभालने के बाद से गंभीर के लिए यह बतौर कोच सबसे बड़ी चुनौती होगी।
शास्त्री ने ‘स्टार स्पोर्ट्स प्रेस रूम’ में मीडिया से बात करते हुए गंभीर को सलाह दी, ‘‘पहली बात यही होगी कि शांत रहें और बाहरी तत्वों से किसी भी तरह से प्रभावित नहीं हों। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘ऐसी स्थिति में नहीं पड़ें जहां बिना सोचे-समझे प्रतिक्रिया होती हैं। शांत रहें और अपने खिलाड़ियों को समझने पर ध्यान दें। आप देखोगे कि एक खिलाड़ी को सफल होने के लिए क्या करना पड़ता है। ’’
शास्त्री ने कहा कि कोचिंग के लिए खिलाड़ियों को समझना और मैच की परिस्थितियों में उन्हें मजबूत बनाना ही सफलता के लिए अहम है।
उन्होंने कहा, ‘‘आप टीम की परिस्थितियों को समझेंगे, जहां आप खिलाड़ी के स्वभाव की समझ के आधार पर देखोगे कि एक निश्चित खिलाड़ी दूसरे की तुलना में बेहतर हो सकता है। ’’
शास्त्री ने कहा, ‘‘इस तरह की समझ रातोंरात नहीं आती हैं। मुझे इन चीजों को समझने में कुछ समय लगा। गौतम को भले ही पहले से ही खिलाड़ियों के स्वभाव की जानकारी हो सकती है। हो सकता है कि उसने उन्हें इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में देखा हो। या फिर जब खिलाड़ी खेल रहा हो तो उनके साथ ड्रेसिंग रूम में बैठा हो। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘हालांकि अलग-अलग मानसिकता, संस्कृति और पृष्ठभूमि वाले कई खिलाड़ी हैं। जैसे कोई खिलाड़ी अंतर्मुखी हो सकता है लेकिन अगर सही तरह से आत्मविश्वास बढ़ाने से वह आपके लिए मैच-विजेता बन सकता है। ’’
शास्त्री ने कहा, ‘‘इन तरह खिलाड़ियों को समझना और उनसे उनका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन कराना अहम होगा। ’’
भारत भले ही घरेलू मैदान पर न्यूजीलैंड से 0-3 की हार के बाद ऑस्ट्रेलिया पहुंच रहा है लेकिन शास्त्री को लगता है कि ‘पैट कमिंस एंड कंपनी’ 2016-17 से ट्रॉफी अपने नाम करने वाली टीम को कम नहीं आंकेगी।
उन्होंने कहा, ‘‘ यह तो स्पष्ट है कि यह ऑस्ट्रेलियाई टीम कभी भी भारत को कम नहीं आंकेगी, चाहे कोई भी खेलने आए। वे आत्मविश्वास से भरे रहेंगे, लेकिन उस आत्मविश्वास को बहुत अधिक नहीं बढ़ने देंगे। ’’
शास्त्री ने कहा, ‘‘वे जीतने के लिए बेताब होंगे क्योंकि पिछले दो बार से अपने देश में नहीं जीते हैं और करीब 10 साल से ट्रॉफी पर उनका कब्जा नहीं है। यह बेताबी उनके अंदर होगी। ’’
यह पूछे जाने पर कि मुख्य तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह पर अतिरिक्त दबाव होगा जो रोहित शर्मा के पितृत्व अवकाश पर होने के कारण पर्थ टेस्ट में कप्तानी की जिम्मेदारी उठायेंगे तो शास्त्री ने कहा कि उन्हें ज्यादा प्रयास नहीं करना चाहिए।
उन्होंने कहा, ‘‘यह ऐसी चीज है जो स्वाभाविक रूप से होती है जो आपके नियंत्रण से परे है। आप इसके बारे में कुछ नहीं कर सकते। आपको आगे के बारे में सोचना होगा, देखना होगा कि आपके हाथ में क्या है और उसके अनुसार ही काम करना होगा। ’’
शास्त्री ने कहा, ‘‘आपके पास अनुभवी खिलाड़ी हैं इसलिए गौतम के लिए उन्हें ऑस्ट्रेलिया पर दबाव बनाने के लिए प्रेरित करना महत्वपूर्ण है। ’’
उनका मानना है कि बुमराह को बतौर कप्तान दबाव का सामना करना पड़ेगा। उन्होंने कहा, ‘‘इसमें कोई संदेह नहीं है कि बुमराह पर दबाव होगा। इस स्थिति में कोई भी कप्तान दबाव महसूस करेगा। लेकिन बुमराह एक परिपक्व और प्रतिस्पर्धी क्रिकेटर हैं। हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि वह इस समय दुनिया का सर्वश्रेष्ठ तेज गेंदबाज है। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘ऑस्ट्रेलियाई टीम जानती है कि उन्हें किससे भिड़ना है। कप्तानी के दबाव के कारण उन्हें कोशिश नहीं करनी चाहिए। अगर वह अपनी मजबूती पर अडिग रहता है और टीम के खिलाड़ी की तरह गेंदबाजी करता है तो ठीक होगा। ’’
ऑस्ट्रेलिया में भारत की ऐतिहासिक टेस्ट जीत में अहम रहे चेतेश्वर पुजारा अब टेस्ट टीम का हिस्सा नही हैं और शास्त्री को लगता है कि केएल राहुल ऐसा खिलाड़ी है जो लंबे समय तब बल्लेबाजी कर सकता है।
शास्त्री ने कहा, ‘‘पुजारा तो पुजारा है। उसकी तुलना किसी और से नहीं करो। लोग कहते थे कि वह क्रीज पर रहेगा तो हम ऑस्ट्रेलिया में श्रृंखला जीत जायेंगे और ऐसा हुआ भी। तो तुलना मत कीजिये। उसने जो किया, वो अद्भुत था। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘जब आप इस टीम को देखते हैं और किसमें तकनीक है तो केएल राहुल ऐसा खिलाड़ी है जो लंबे समय तक बल्लेबाजी कर सकता है, बशर्ते उसे अच्छी शुरूआत मिले। उसने विदेशी सरजमीं पर रन जुटाये हैं और यह उसका ऑस्ट्रेलिया का तीसरा दौरा है। ’’
भाषा नमिता सुधीर
सुधीर