State government canceled 25 thousand ration cards: बिजनौर: वैसे तो केंद्र और राज्य सरकार की तरफ से मुहैय्या कराये जाने वाले राशन पर पहला हक़ गरीब, मजदूर और जरूरतमंदों का होता है। लेकिन इसका फायदा इनके बजाये सम्पन्न परिवारों को मिलता रहा है। हालांकि खुद को गरीब बताकर सरकार का राशन डकारने वाले ऐसे अमीरों को खाद्यान्न की योजना से बाहर का रास्ता दिखा दिया गया है। यानी ऐसे लोगों के राशन कार्ड निरस्त किए गए हैं। जिलेभर में 25137 राशन कार्ड निरस्त किए जाने के जानकारी सामने आई हैं।
मिली जानकारी के अनुसार शहरी इलाकों में 62 और ग्रामीण क्षेत्रों में 79 फीसदी लोगों को खाद्य सुरक्षा गारंटी के तहत राज्य सरकार के द्वारा उचित दरों पर राशन और खाद्यान्न मुहैय्या कराया जा रहा है। जिले में 609395 राशन कार्ड जारी किये जा चुके है जबकि कुल यूनिट 2767501 हैं। वहीं अंत्योदय के योजना के तहत भी 20625 परिवारों को मुफ्त अनाज वितरित होता है। एक यूनिट पर पांच किलो अनाज मिलता है। साल 2011 की जनगणना के आधार पर राशन कार्ड बने हुए थे।
State government canceled 25 thousand ration cards अब जनंसंख्या में बढ़ोत्तरी हुई तो दुसरे गरीबजनों का भी राशन कार्ड बनाया गया। हालांकि अब सरकार की ओर से सत्यापन कराते हुए अमीरों को मुफ्त के राशन से बाहर कर दिया है। दो महीने से राशन कार्ड का सत्यापन चल रहा है। उधर, आयकर विभाग से मिली सूची के आधार पर 9210 राशन कार्ड निरस्त किए गए हैं, ये लोग आयकर दाता निकले। वहीं पिछले पांच महीने से राशन नहीं लेने वालों के भी 14256 राशन कार्ड निरस्त किए गए हैं। सरकार ने यह माना है कि पांच माह से राशन नहीं लेने वालों को सस्ती दरों के अनाज की जरूरत नहीं है।