रायपुर : Raipur South By-Election 2024 : छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर की हाईप्रोफाइल रायपुर दक्षिण सीट पर चुनाव की तारीख का ऐलान हो गया। 13 नवबंर को यहां की जनता वोट डालेगी और वो बृजमोहन अग्रवाल के बाद अपने विधायक का चुनाव करेगी। हालांकि वोटिंग से पहले टिकट और उम्मीदवारी को लेकर एक्शन शुरू हो चुका है। ब्राह्मण समाज ने दोनो ही पार्टियों से रायपुर दक्षिण सीट पर ब्राह्मण प्रत्याशी को टिकट देने की मांग की है। चुनावी दौर में प्रेशर ग्रुप्स का सक्रिय होना स्वाभाविक है लेकिन जाति के नाम पर टिकट की मांग कई सवाल खड़े करती है।
Raipur South By-Election 2024 : चुनाव तारीखों के ऐलान के साथ ही रायपुर दक्षिण में टिकट को लेकर सियासी हलचल तेज हो गई है। नेता तो अपनी दावेदारी पेश कर ही रहे हैं। अब समाज ने भी टिकट की मांग की है। रायपुर दक्षिण में इस बार ब्राह्णण समाज ने कांग्रेस और बीजेपी से टिकट की मांग कर दी है। समाज के पदाधिकारी सियासी दलों के दफ्तर पहुंचकर न सिर्फ टिकट को लेकर दावेदारी पेश की। बल्कि अपनी ताकत दिखाने की कोशिश भी की। दोनों ही दलों को ब्राह्मण प्रत्याशी को टिकट मिलने पर एकतरफा समर्थन देने का भरोसा भी दिलाया है।
अगर सियासी पार्टियां ब्राह्मण समाज से टिकट देती है तो दोनों पार्टियों में दावेदारों की लंबी कतार है। बात करें बीजेपी की तो, सुभाष तिवारी, मनोज शुक्ला, मीनल चौबे,मृत्युंजय दुबे, अंजय शुक्ला और इसी तरह कांग्रेस से प्रमोद दुबे, राजीव वोरा, ज्ञानेश शर्मा, आकाश शर्मा प्रमुख ब्राह्मण दावेदार है।
Raipur South By-Election 2024 : वैसे रायपुर दक्षिण के सियासी इतिहास पर नजर डाले तो. अब तक भाजपा से किसी ब्राह्मण को टिकट नहीं मिली है। जबकि कांग्रेस एक बार योगेश तिवारी टिकट दे चुकी है। इस बार ब्राह्मण समाज ने दोनों ही पार्टियों में टिकट के लिए दावेदारी की है। लिहाजा टिकट की दावेदारी कर रहे सामाजिक कार्ड खेलकर भी वे अपना नंबर बढ़ाने में लगे हैं, तो इधऱ दोनो दल सधा बयान दे रहे हैं।
2008 में अस्तित्व में आई रायपुर दक्षिण विधानसभा में 40 हजार से ज्यादा ब्राह्मण हैं। जबकि जैन, अग्रवाल, माहेश्वरी समाज के भी 15 हजार से अधिक मतदाता हैं। चुनावी बिगुल बजते ही सामाजिक समीकरण साधने की कवायद भी तेज हो गई है। सामाजिक दबाव का असर टिकट सेलेक्शन में कितना काम आता है, ये तो जब उम्मीदवार के नाम सामने आएंगे तो क्लीयर होगा।