रायपुर : CG Government On CBI : छत्तीसगढ़ सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए CBI की लिमिट तय कर दी है। अब CBI राज्य कर्मियों के खिलाफ लिखित अनुमति के बिना जांच नहीं कर सकेगी। राज्य सरकार ने BNS के प्रावधान के तहत अधिसूचना जारी की है। जिस पर डिप्टी सीएम अरुण साव ने कहा कि प्रशासनिक रूप से कैसे काम करना है। उसके आधार पर सरकार निर्णय लेती है। जिस पर PCC चीफ दीपक बैज ने कहा कि, एक तरफ सरकार CBI को एंट्री देती है। वहीं CBI राज्य के कर्मियों के खिलाफ बिना अनुमति जांच नहीं कर सकेगी। क्या केंद्र और राज्य सरकार में कोई तालमेल नहीं है।
CG Government On CBI : सीबीआई को लेकर छत्तीसगढ़ का सियासी पारा हाई है। इसकी वजह से है साय सरकार का एक फैसला। जिसके तहत अब CBI राज्य कर्मियों के खिलाफ लिखित अनुमति के बिना जांच नहीं कर सकेगी। फैसले पर सूबे के कानून मंत्री ने कहा कि, BNS के प्रावधान के तहत अधिसूचना जारी की है और प्रशासनिक रूप से कैसे काम करना है, उसके आधार पर सरकार निर्णय लेती है।
छत्तीसगढ़म में CBI की एंट्री पर लिमिट तय करने के राज्य सरकार की अपनी दलील है तो कांग्रेस तंज कस रही है कि केंद्र और राज्य सरकार कन्फ्यूज है।दोनों के बीच कोई तालमेल नहीं है। कांग्रेस ने आरोप लगाया कि जो बीजेपी हमारे समय में CBI बैन पर सवाल उठाती थी। आज वो सूबे में चल रहे लेनदेन से बचने नया रास्ता निकाला है।
CG Government On CBI : वैसे ये पहली बार नहीं है जब सीबीआई को लेकर बीजेपी कांग्रेस आमने-सामने हैं। इससे पहले जब पिछली कांग्रेस सरकार ने सीबीआई पर बैन लगाया था। तब बीजेपी ने कई सवाल उठाए। फिर साय सरकार आते ही इस बैन को हटा दिया गया, लेकिन अब सरकार ने CBI की लिमिट तय कर दी है। यानी सीबीआई बिना राज्य सरकार के लिखित अनुमति के बिना जांच नहीं कर पाएगी। अब सवाल है कि क्या वाकई केंद्र और राज्य सरकार के बीच तालमेल नहीं है।