घने जंगलों के बीच गुफा में प्राकृतिक रूप से विराजे हैं भगवान जटाशंकर, जहां घुटनों के बल जाकर ही होते हैं दर्शन

घने जंगलों के बीच गुफा में प्राकृतिक रूप से विराजे हैं भगवान जटाशंकर, जहां घुटनों के बल जाकर ही होते हैं दर्शन

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  • Publish Date - July 27, 2020 / 04:36 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:38 PM IST

कोरिया। घने जंगलों और दुर्गम रास्तों के बीच कोरिया जिले में प्रसिद्ध जटाशंकर धाम स्थित है । मनेन्द्रगढ़ विकासखण्ड के सोनहरी के घने जंगल में कच्चे मार्ग से होते हुए आगे करीब पांच सौ सीढ़ियों को उतरकर धाम परिसर में पहुंचा जा सकता है । सावन के महीने में यहां बड़ी दूर—दूर से श्रद्धालु आते है और यहां सकरी गुफा में प्राकृतिक रूप में विराजे भोलेनाथ के दर्शन करते हैं।

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इस धाम में आने वाले सभी भक्तों की मनोकामना पूरी होती है। सोनहरी के रास्ते आईबीसी 24 भी यहां तक पहुँचा । सावन महीने के चौथे सोमवार को भी श्रद्धालु यहां बड़ी संख्या में पहुँचे और पूजा अर्चना की । गुफा में विराजे भोलेनाथ के दर्शन करने के लिए भोले के भक्तों को घुटने और हाथ के बल बावन हाथ अंदर जाना होता है और उसी तरह बाहर आना पड़ता है।

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बियावान जंगल मेें स्तिथ जटाशंकर धाम में आने के बाद भक्तों को बड़ी शांति मिलती है । श्रद्धालु यहां अपने साथ यहां भोजन सामग्री लेकर आते हैं और यहीं पर भोग बनाकर प्रसाद के रूप में उसे ग्रहण करते हैं। इस धाम में शिव दास नामक बाबा अकेले रहते हैं जो कई सालों से रहकर भोले की सेवा कर रहे है। छतीसगढ़ के कोरिया जिले के अलावा मध्यप्रदेश के अनुपपुर जिले के श्रद्धालुओं का यहाँ साल भर आना जाना लगा रहता है।

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