Neeraj Chopra in Paris Olympics: पेरिस ना सही कही और… गोल्ड नहीं मिलने पर छलका नीरज चोपड़ा का दर्द, पाकिस्तानी खिलाड़ी के लिए कह दी ये बात, देखें ये वीडियो

पेरिस ना सही कही और... गोल्ड नहीं मिलने पर छलका नीरज चोपड़ा का दर्द, Neeraj Chopra expressed his pain after not getting the gold, said this

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  • Publish Date - August 9, 2024 / 09:07 AM IST,
    Updated On - August 9, 2024 / 09:35 AM IST

नई दिल्लीः Neeraj Chopra in Paris Olympics भारत के नीरज चोपड़ा लगातार दो ओलंपिक स्वर्ण पदक जीतने वाले देश के पहले एथलीट बनने से चूक गए हैं. उन्होंने 89.45 मीटर थ्रो के साथ सिल्वर हासिल किया। यह उनका सीजन बेस्ट थ्रो रहा। इस मुकाबले में एथलेटिक्स जगत में हलचल मचा देने वाले परिणाम में पाकिस्तान के अरशद नदीम ने 92.97 मीटर थ्रो के नए ओलंपिक रिकॉर्ड के साथ स्वर्ण पदक जीता. मुकाबले के बाद नीरज ने कहा कि आज उनका दिन नहीं था। उन्होंने साथ ही एक बड़ी भविष्यवाणी की। उन्होंने कहा कि भले ही मैं पेरिस में राष्ट्रगान नहीं बजवा पाया लेकिन कहीं और यह जरूर होगा। बता दें कि जिस देश का खिलाड़ी गोल्ड जीतता है, उसके यहां का राष्ट्रगान बजाया जाता है।

‘जो कमियां हैं, उनको सुधारेंगे’

Neeraj Chopra in Paris Olympics 26 वर्षीय नीरज ने सिल्वर मिलने के बाद कहा, ”देश के लिए जब भी मेडल जीतते हैं तो उसकी खुशी होती है। अब गेम में इम्प्रूवमेंट का समय है। हम बैठेंगे, चर्चा करेंगे और सुधार करेंगे। जो कमियां हैं, उनको सुधारेंगे। अगर ओवरऑल देखें तो इंडिया की परफर्मेंस अच्छी रही है। टोक्यो के साथ गोल्ड, ब्रॉन्ज या सिल्वर की तुलना ना करें। जरूरी नहीं है कि हर बार हमारे मेडल बढ़ते जाएं। लेकिन आने वाले समय के लिए यह संकेत है कि हमारे मेडल और बढ़ेंगे।” वहीं, नीरज से जब टोक्यो की तुलना में पेरिस के फाइनल में कड़ी टक्कर पर पूछा गया तो उन्होंने कहा, ”कंपटीशन बहुत अच्छा था। हर एथलीट का अपना दिन होता है। आज अरशद का दिन था। लेकिन टोक्यो, बुडापेस्ट या एशियन गेम्स की बात करें तो अपना दिन था।”

‘मैं स्वीकार करता हूं कि…’

उन्होंने आगे कहा, ”मैंने अपना बेस्ट दिया लेकिन कुछ चीजों पर ध्यान देने और उनपर काम करने की जरूरत है। थोड़ा इंजरी ठीक करके उस दिशा में काम करना होगा। खेल के समय जो फोकस इंजरी की तरफ रहता है, वो परफॉर्मेंस की तरफ हो, यह देखने होगा। थ्रो तो है और अच्छा है। एक बार निकलेगी जब सब तरीके से फिट हो जाएंगे और मेंटली बिलकुल तैयार होंगे। सबकी उम्मीद थी कि हमारा हमारा राष्ट्रगान बजे। उसपर खरा भी उतरे हैं। लेकिन मैं यह बात स्वीकार करता हूं कि आज शायद अपना दिन नहीं था। हमेशा अच्छा रहा है पर आज राष्ट्रगान नहीं बजवा पाया। भले ही पेरिस में राष्ट्रगान नहीं बजा मगर आगे फिर मौका मिलेगा और कहीं और ऐसा होगा।”.