शिंदे ने डाले हथियार, महाराष्ट्र में भाजपा के मुख्यमंत्री का रास्ता हुआ साफ

शिंदे ने डाले हथियार, महाराष्ट्र में भाजपा के मुख्यमंत्री का रास्ता हुआ साफ

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  • Publish Date - November 27, 2024 / 06:14 PM IST,
    Updated On - November 27, 2024 / 06:14 PM IST

मुंबई, 27 नवंबर (भाषा) महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अब तक के सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के बाद मोलभाव की स्थिति से वंचित रह गए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने बुधवार को अपने हथियार डालते हुए कहा कि उनके उत्तराधिकारी के नाम पर केंद्र में सत्तारूढ़ पार्टी जो भी निर्णय लेगी, वह उन्हें स्वीकार होगा।

शिंदे ने स्पष्ट किया कि उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को आश्वासन दिया है कि राज्य के नए मुख्यमंत्री के रूप में वह भाजपा के शीर्ष नेतृत्व के हर फैसले का समर्थन करेंगे और इस प्रक्रिया में कोई अड़चन नहीं आयेगी। इसके साथ ही महाराष्ट्र में भाजपा का मुख्यमंत्री बनने का रास्ता लगभग साफ हो गया।

ठाणे स्थित अपने आवास पर एक संवाददाता सम्मेलन में उन्होंने कहा, ‘‘मैंने कल प्रधानमंत्री मोदी (नरेन्द्र मोदी) और अमित शाह को फोन किया था और उनसे (मुख्यमंत्री पद पर) फैसला करने को कहा था। मैंने उन्हें आश्वासन दिया है कि वे जो भी निर्णय लेंगे, मैं उसका पालन करूंगा।’’

उन्होंने कहा, ‘‘हमारी शिवसेना महाराष्ट्र के अगले मुख्यमंत्री को नामित करने के भाजपा के फैसले का पूरा समर्थन करेगी। हमारी तरफ से कोई अडंगा नहीं है।’’

शिंदे ने उन खबरों को भी खारिज कर दिया कि उनके नेतृत्व में सत्तारूढ़ महायुति गठबंधन को शानदार जीत हासिल करने के बावजूद दोबारा मुख्यमंत्री नहीं बनाए जाने से वह निराश हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘कोई नाराज नहीं है। हमने महायुति के रूप में काम किया है।’’

यह पूछे जाने पर कि क्या उन्हें दूसरा कार्यकाल नहीं मिलने से वह निराश हैं, शिंदे ने कहा, ‘‘ऐसी कोई बात नहीं है। आपको याद होगा कि भाजपा ने मुख्यमंत्री के रूप में मेरे कार्यकाल का समर्थन किया था।’’

यह पूछे जाने पर कि नए मंत्रिमंडल में उपमुख्यमंत्री कौन होगा, शिंदे ने कहा, ‘‘अमित भाई (शाह) के साथ दिल्ली में कल बैठक है और उसमें सभी संबंधित निर्णय लिए जाएंगे।’’

उन्होंने कहा कि बृहस्पतिवार को दिल्ली में होने वाली बैठक में अगली सरकार बनाने के तौर-तरीकों को अंतिम रूप दिया जाएगा।

शिंदे ने कहा, ‘‘मैं इस प्रचंड जीत के लिए एक बार फिर महाराष्ट्र के लोगों और मतदाताओं को धन्यवाद देता हूं।’’

मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने हाल ही में विधानसभा के दौरान व्यापक प्रचार किया। उन्होंने कहा, ‘‘मैं अगले दिन प्रचार अभियान शुरू करने से पहले 2-3 घंटे ही सोता था।’’

उन्होंने कहा, ‘‘मैं हमेशा के लिए एक कार्यकर्ता हूं। मेरे लिए सीएम (चीफ मिनिस्टर) का मतलब कॉमन मैन (सीएम) होता है।’’

शिंदे ने मुख्यमंत्री के तौर पर ढाई साल के कार्यकाल के दौरान समर्थन देने के लिए मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को धन्यवाद दिया।

उन्होंने कहा, ‘‘मैंने मुख्यमंत्री बनने के छह महीने में ही महाराष्ट्र को तीसरे नंबर से नंबर 1 स्थान पर लाने के लिए काम किया।’’

मीडिया में आई उन खबरों का हवाला देते, जिनमें कहा गया था कि वह चुनाव में महायुति की भारी जीत के बावजूद पद छोड़ने के लिए कहे जाने से नाखुश हैं, शिंदे ने कहा, ‘‘मैं निराश नहीं हूं। हम लड़ते हैं, रोते नहीं हैं।’’

शिंदे ने कहा, ‘‘मैंने मुख्यमंत्री के तौर पर लोकप्रिय होने के लिए नहीं बल्कि महाराष्ट्र के लोगों के कल्याण के लिए काम किया।’’

भाजपा के नेतृत्व वाले महायुति गठबंधन ने 288 सदस्यीय विधानसभा में 230 सीट जीतकर राज्य विधानसभा चुनावों में जोरदार वापसी की है।

लोकसभा चुनाव में मिली हार से उबरते हुए भाजपा ने 132 सीटों पर जीत दर्ज की जो महायुति के सभी घटक दलों में सर्वाधिक है। शिंदे की शिवसेना और अजित पवार की राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) ने भी अच्छा प्रदर्शन किया। शिवसेना ने 57 और राकांपा ने 41 सीट जीतीं।

महाराष्ट्र विधानसभा में बहुमत के लिए के लिए 145 का आंकड़ा चाहिए। भाजपा को इस आंकड़े तक जाने के लिए अपने सहयोगियों में से केवल एक की जरूरत है। ऐसी स्थिति में उसका पलड़ा भारी है और शिंदे मोलभाव की स्थिति में नहीं है।

कांग्रेस के नेतृत्व वाली महा विकास आघाडी (एमवीए) को झटका लगा है। देश की सबसे पुरानी पार्टी ने राज्य विधानसभा चुनावों में अपना सबसे खराब प्रदर्शन किया। उसे केवल 16 सीट पर जीत मिली। शरद पवार की राकांपा ने सिर्फ 10 सीट जीतीं जबकि उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाले शिव सेना (यूबीटी) ने 20 सीट जीतीं।

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव 20 नवंबर को हुए थे और परिणाम 23 नवंबर को घोषित किए गए थे।

मंगलवार को एकनाथ शिंदे ने राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन से मुलाकात कर मुख्यमंत्री पद से अपना इस्तीफा सौंप दिया था। राज्यपाल ने शिंदे से नयी सरकार के गठन तक कार्यवाहक मुख्यमंत्री बने रहने को कहा है।

भाषा ब्रजेन्द्र अविनाश

अविनाश