मुंबई, 20 जुलाई (भाषा) बंबई उच्च न्यायालय ने सोशल मीडिया मंच मुहैया कराने वाली कंपनियों से कहा है कि वे एनएसई के प्रबंध निदेशक और मुख्य कार्यकारी अधिकारी की ओर से स्टॉक के चयन की अनुशंसा करने से जुड़े कथित ‘डीपफेक’ वीडियो को लेकर त्वरित कार्रवाई करें।
‘डीपफेक’ वीडियो से आशय किसी वीडियो में कृत्रिम बुद्धिमत्ता के जरिये काट-छांट करके फर्जी वीडियो बनाने से है।
न्यायमूर्ति आर आई चागला की एकल पीठ ने 16 जुलाई के अपने आदेश में सोशल मीडिया मंचों जैसे कि फेसबुक, व्हाट्सऐप, इंस्टाग्राम और टेलीग्राम को ‘नेशनल स्टॉक एक्सचेंज ऑफ इंडिया लिमिटेड’ (एनएसई) के ट्रेडमार्क का उल्लंघन करने वाले सभी खातों को हटाने का निर्देश दिया।
उच्च न्यायालय ने कहा, ‘‘सुविधा का संतुलन भी वादी (एनएसई) के पक्ष में है तथा वादी को अपूरणीय क्षति और/या ठेस पहुंचेगी, जब तक कि मांगी गई अस्थायी राहत नहीं दी जाती है।’’
पीठ ने सोशल मीडिया मंचों को ऐसे विकृत वीडियो और प्रोफाइल के खिलाफ शिकायत प्राप्त होने के 10 घंटे के भीतर सामग्री को हटाने का निर्देश दिया, जिसमें वादी के ट्रेडमार्क का उल्लंघन किया गया है।
एनएसई ने यह दावा करते हुए उच्च न्यायालय का रुख किया था कि सोशल मीडिया मंचों पर उसके प्रबंध निदेशक (एमडी) एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) आशीष कुमार चौहान का निवेश और स्टॉक के टिप्स देते हुए एक मनगढ़ंत वीडियो दिखाया गया। इसने कहा कि उनकी आवाज और चेहरे के भावों की नकल करने के लिए परिष्कृत एआई (कृत्रिम बुद्धिमत्ता) तकनीक का उपयोग करके कथित वीडियो तैयार किया गया।
इसने अनधिकृत वीडियो को हटाने के लिए मंचों को निर्देश देने का अनुरोध किया है।
एनएसई ने दावा किया कि कुछ अपराधियों ने कथित तौर पर इसके ट्रेडमार्क का इस्तेमाल किया और फेसबुक, इंस्टाग्राम तथा व्हाट्सऐप जैसे सोशल मीडिया मंचों पर झूठे और भ्रामक विज्ञापन प्रसारित किए।
इसने अपनी याचिका में कहा कि इस साल अप्रैल में उसने साइबर पुलिस में शिकायत भी दर्ज कराई थी।
एनएसई की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता बीरेंद्र सराफ ने अदालत को बताया कि सोशल मीडिया कंपनियों के शिकायत प्रकोष्ठ में शिकायत करने के बावजूद ऐसे ‘डीपफेक’ वीडियो और ट्रेडमार्क का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है।
अदालत ने कंपनियों को उन सभी खातों और उन खातों को संभालने वाले व्यक्तियों का विवरण देते हुए अपने हलफनामे दाखिल करने का निर्देश दिया, जो नकली वीडियो और नकली वीडियो के समान सामग्री प्रकाशित करने या स्टॉक एक्सचेंज के पंजीकृत ट्रेडमार्क ‘एनएसई’ का दुरुपयोग करने में शामिल थे।
इसने कहा कि हलफनामा तीन सप्ताह के अंदर दाखिल किया जाएगा और मामले की अगली सुनवाई 19 अगस्त को होगी।
अदालत ने उल्लेख किया कि डीपफेक वीडियो में एनएसई के एमडी एवं सीईओ दर्शकों से कथित तौर पर एक ‘व्हाट्सऐप कम्युनिटी’ में शामिल होने के लिए कहते दिखते हैं जहां कंपनी कथित तौर पर स्टॉक का चयन करने की अनुशंसा करेगी।
भाषा संतोष नेत्रपाल
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