नागपुर, 10 अक्टूबर (भाषा) राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख मोहन भागवत ने बृहस्पतिवार को उद्योगपति रतन टाटा के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए कहा कि वह अपनी अनूठी सोच और कार्य से प्रेरणास्रोत बने रहेंगे।
भागवत ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा कि अनेक ऊंचाइयों को छूने के बाद भी उनकी सादगी और विनम्रता की शैली अनुकरणीय रहेगी।
टाटा का बुधवार रात मुंबई के एक अस्पताल में निधन हो गया। वह 86 वर्ष के थे।
भागवत ने कहा कि उनके निधन से भारत ने एक अमूल्य रत्न खो दिया है।
संघ प्रमुख ने कहा कि भारत की विकास यात्रा में रतन टाटा का योगदान चिरस्मरणीय रहेगा।
उन्होंने कहा, “उद्योग के महत्वपूर्ण क्षेत्रों में नयी व प्रभावी पहल के साथ ही उन्होंने कई श्रेष्ठ मानक स्थापित किये। समाज के हित के अनुकूल सभी कार्यों में उनका सतत सहयोग व सहभागिता बरकरार रही।”
भागवत ने कहा, “राष्ट्र की एकात्मता व सुरक्षा की बात हो या विकास का कोई पहलू हो अथवा कार्यरत कर्मचारियों के हितों का मामला हो, रतन जी अपनी विशिष्ट सोच व कार्य से प्रेरणादायी रहे।”
उन्होंने कहा, “हम उन्हें विनम्र एवं भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं तथा प्रार्थना करते हैं कि ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें।”
रतन टाटा ने 18 अप्रैल, 2019 को महाराष्ट्र के नागपुर में संघ मुख्यालय में भागवत से मुलाकात की। यह उद्योगपति की संघ मुख्यालय की दूसरी यात्रा थी।
इससे पहले, टाटा ने पहली बार संघ मुख्यालय का दौरा 28 दिसंबर 2016 को उनके 79वें जन्मदिन पर किया था। उस समय वह टाटा समूह के अपदस्थ अध्यक्ष साइरस मिस्त्री के साथ बोर्डरूम में तीखी लड़ाई में उलझे हुए थे।
भाषा
प्रशांत मनीषा
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