मुंबई, दो सितंबर (भाषा) विख्यात अभिनेता नसीरुद्दीन शाह ने अफगानिस्तान में तालिबान द्वारा सत्ता पर काबिज होने पर खुश होने वाले भारतीय मुसलमानों के एक वर्ग की आलोचना की और कहा कि यह चिंता का विषय है। पिछले महीने तालिबान ने काबुल पर कब्जा करने के बाद अफगानिस्तान की सत्ता हथिया ली थी। शाह ने ट्विटर पर एक वीडियो डाला है जो वायरल हो रहा है।
इसमें उन्होंने कहा कि हर भारतीय मुसलमान को यह सोचना चाहिए कि उन्हें अपने मजहब में “सुधार और आधुनिकता” चाहिए या वे “बर्बरता” के पुराने मूल्यों के साथ जीना चाहते हैं। शाह ने वीडियो में कहा, “ अफगानिस्तान की सत्ता पर तालिबान का काबिज होना पूरी दुनिया के लिए चिंता का कारण है, लेकिन भारतीय मुसलमानों के एक वर्ग द्वारा बर्बरता का स्वागत करना कम खतरनाक नहीं है। हर भारतीय मुसलमान को अपने आप से पूछना चाहिए कि क्या वह इस्लाम में सुधार या आधुनिकता चाहता है या बीती कुछ सदियों के बर्बरता के मूल्यों को अपनाना चाहता है।”
शाह (71) ने मिर्जा गालिब की शायरी का हवाला देते हुए कहा कि अल्लाह के साथ उनका नाता बेतकल्लुफ है। उन्होंने कहा, “मुझे राजनीतिक मजहब नहीं चाहिए।” शाह ने कहा कि भारतीय मुसलमान बाकी दुनिया से अलग रहे हैं और उन्हें उम्मीद है कि आगे भी ऐसा ही रहेगा।
भाषा
यश अविनाश
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