एमवीए की ओर झुकाव रखने वाले मतदाताओं के नाम सूची से हटाए जा रहे हैं: विपक्षी नेता

एमवीए की ओर झुकाव रखने वाले मतदाताओं के नाम सूची से हटाए जा रहे हैं: विपक्षी नेता

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  • Publish Date - October 18, 2024 / 03:49 PM IST,
    Updated On - October 18, 2024 / 03:49 PM IST

मुंबई, 18 अक्टूबर (भाषा) महा विकास आघाडी (एमवीए) के नेताओं ने शुक्रवार को आरोप लगाया कि आगामी महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए मतदाता सूची से विपक्षी दलों की ओर झुकाव रखने वाले मतदाताओं के नाम हटाए जा रहे हैं।

कांग्रेस, शिवसेना (यूबीटी) और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) के नेताओं ने संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए दावा किया कि निर्वाचन आयोग के कामकाज में कोई पारदर्शिता नहीं है और इसके अधिकारी सत्तारूढ़ दलों के दबाव में काम कर रहे हैं।

उन्होंने कहा कि एमवीए निर्वाचन आयोग के समक्ष यह मुद्दा उठाएगा।

महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव के लिए 20 नवंबर को मतदान होगा और मतगणना 23 नवंबर को होगी।

एमवीए नेताओं विशेष रूप से कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई के अध्यक्ष नाना पटोले ने स्वतंत्र व निष्पक्ष चुनाव के लिए राज्य की पुलिस महानिदेशक रश्मि शुक्ला को हटाने की मांग की।

पटोले ने आरोप लगाया कि निर्वाचन आयोग के फॉर्म-7 के तहत विभिन्न कारणों से मतदाता सूची से नाम हटाए जाते हैं। लेकिन इसके तहत विपक्षी दलों की ओर झुकाव रखने वाले मतदाताओं के नाम हटाए जा रहे हैं। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के इशारे पर यह सब हो रहा है।

पटोले ने कहा, “कांग्रेस, शिवसेना (यूबीटी) और राकांपा (एसपी) की तरफ झुकाव रखने वाले लोगों के नाम मतदाता सूची से हटाए जा रहे हैं। ऐसा इसलिए किया जा रहा है क्योंकि भाजपा चुनाव हार रही है।”

शिवसेना (यूबीटी) के नेता और विधान परिषद में नेता प्रतिपक्ष अंबादास दानवे ने दावा किया कि नासिक सेंट्रल विधानसभा क्षेत्र में 6,000 मतदाताओं के नाम सूची में नहीं हैं और कलेक्टर के समक्ष मुद्दा उठाने के बावजूद इस पर कोई संज्ञान नहीं लिया गया।

उन्होंने दावा किया कि सत्तारूढ़ दलों की जीती हुई औरंगाबाद सेंट्रल और सिल्लोड सीट पर लगभग 27,000 मतदाताओं को मतदाता सूची में जोड़ा गया है।

राकांपा (एसपी) के नेता जितेंद्र अव्हाड ने मांग की कि निर्वाचन आयोग मतदाता सूची को लेकर श्वेत पत्र प्रकाशित करे।

उन्होंने कहा कि मतदाता सूची का प्रिंट इतना खराब है कि इसे पढ़ा नहीं जा सकता। उन्होंने दावा किया कि नाम, पते और फोटो भी गलत हैं।

अव्हाड ने कहा, “जिस तरह से चुनाव कराया जा रहा है वह संदिग्ध है। यह शर्मनाक है।”

भाषा जोहेब नरेश

नरेश