गढ़चिरौली, 19 अक्टूबर (भाषा) महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में शनिवार को आठ लाख रुपये के इनामी एक नक्सली दम्पती ने आत्मसमर्पण कर दिया। एक पुलिस अधिकारी ने यह जानकारी दी।
अधिकारी ने उनकी पहचान असिन राजाराम कुमार (37) उर्फ अनिल और उसकी पत्नी अंजू सुल्या जाले (28) उर्फ सोनिया के रूप में की।
अधिकारी ने बताया, ‘कुमार ओडिशा में माओवादियों की प्रेस टीम का ‘एरिया कमेटी मेंबर’ था। वह हरियाणा के नरवाना का निवासी है और हिमाचल प्रदेश में शिमला के पास एक इलाके में फर्जी पहचान के साथ रह रहा था। गढ़चिरौली निवासी जाले भी पूर्वी राज्य में उसी प्रेस टीम का हिस्सा थी और हिमाचल प्रदेश में रह रही थी।’
अधिकारी ने कहा, ‘उन्होंने गढ़चिरौली पुलिस और सीआरपीएफ के अधिकारियों के सामने आत्मसमर्पण कर दिया। कुमार जागृत छात्र मोर्चा के लिए काम करता था और 2006 में माड क्षेत्र की प्रेस टीम में भर्ती हुआ था। वह जाले के साथ 2018 से फर्जी नाम से हिमाचल प्रदेश में रह रहा था। दंपति के खिलाफ मुठभेड़ के दो मामले दर्ज हैं।’
अधिकारी ने बताया कि जाले 2007 से नक्सली कमांडर दिनकर का सहयोगी था और माड के घमंडी गांव में माओवादियों के ‘जनताना सरकार स्कूल’ में शिक्षक के रूप में भी काम करता था।
अधिकारी ने कहा, ‘कुमार पर छह लाख रुपये का इनाम था, जबकि जाले पर दो लाख रुपये का इनाम था। महाराष्ट्र सरकार की आत्मसमर्पण और पुनर्वास नीति के तहत उन्हें कुल 11 लाख रुपये मिलेंगे। कुमार को पांच लाख रुपये, जाले को चार लाख 50 हजार रुपये मिलेंगे, जबकि एक लाख 50 हजार रुपये अतिरिक्त सहायता के रूप में दिए जाएंगे क्योंकि आत्मसमर्पण करने वाले लोग दंपती हैं।’
भाषा शुभम रंजन
रंजन
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