मुंबई, 23 नवंबर (भाषा) महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए शनिवार को जारी मतगणना के बीच भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत महायुति गठबंधन अपराह्न तीन बजे तक 288 विधानसभा सीट में 225 सीट पर बढ़त के साथ राज्य में सत्ता बरकरार रखने की ओर अग्रसर है।
निर्वाचन आयोग के आंकड़ों में यह जानकारी दी गई।
चुनाव नतीजों की निश्चितता के बाद अब सबका ध्यान भाजपा नेता देवेंद्र फडणवीस पर केंद्रित हो गया है जो अपनी पार्टी की शानदार जीत के सूत्रधार माने जा रहे हैं। राजनीतिक हलकों में ऐसी खबरें जोरों पर हैं कि राज्य के दूसरे ब्राह्मण मुख्यमंत्री तीसरी बार यह पद संभालेंगे
मनोहर जोशी महाराष्ट्र के पहले ब्राह्मण मुख्यमंत्री थे।
निर्वाचन आयोग के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, भाजपा ने अब तक 10 सीट जीती हैं और 121 पर आगे चल रही है, शिवसेना ने छह सीट जीती हैं और 48 सीटों पर आगे चल रही है, जबकि राकांपा ने आठ सीट जीती हैं और 32 सीट पर आगे चल रही है।
एमवीए में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) एक सीट जीत चुकी है जबकि 11 पर आगे चल रही है। कांग्रेस 19 सीट पर आगे चल रही है। वहीं, शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) 20 सीट पर आगे चल रही है।
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए 20 नवंबर को मतदान हुआ था।
विपक्षी महा विकास आघाडी (एमवीए) लड़खड़ाता नजर आ रहा है। एमवीए उम्मीदवार करीब 50 सीट पर आगे हैं जबकि उसके कई नेताओं ने शनिवार सुबह तक महायुति को हराने के दावे किए थे।
विजेताओं में भाजपा के कालिदास कोलंबकर भी शामिल हैं, जिन्होंने वडाला निर्वाचन क्षेत्र में शिवसेना (उबाठा) की श्रद्धा जाधव को 16 चरण की मतगणना के बाद 24,973 मतों से मात दी और लगातार नौवीं बार विधायक बने।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस तथा अजित पवार अपने-अपने विधानसभा क्षेत्रों में आगे चल रहे हैं।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता नाना पटोले, पृथ्वीराज चव्हाण और बालासाहेब थोराट अपने निर्वाचन क्षेत्रों में पीछे चल रहे हैं।
केंद्रीय गृह मंत्री और भाजपा के वरिष्ठ नेता अमित शाह ने फडणवीस को फोन कर महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में पार्टी के शानदार प्रदर्शन के लिए बधाई दी।
फडणवीस के करीबी सूत्रों ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि शाह ने फोन कर उन्हें चुनाव में पार्टी के मजबूत प्रदर्शन के लिए बधाई दी।
देवेन्द्र फडणवीस की मां सरिता फडणवीस ने भी महायुति के प्रदर्शन पर खुशी जताई। उन्होंने कहा, ‘‘मैंने कभी किसी अफवाह पर विश्वास नहीं किया और जानती थी कि वह (देवेंद्र) अच्छा करेंगे। पार्टी की सफलता का श्रेय मुख्यमंत्री मांझी लाडकी बहिन योजना और देवेंद्र के प्रयासों और लोकप्रियता को दिया जा सकता है… वह बहुत बुद्धिमान, होशियार और साहसी हैं और इसी वजह से उन्हें यह सफलता मिली है।’’
लाडकी बहिन योजना पर उन्होंने कहा, ‘‘मेरी कोई बेटी नहीं है, लेकिन इस योजना के माध्यम से अब मुझे बहुत सारी बेटियां और उनकी शुभकामनाएं मिल रही हैं।’’
भाजपा महासचिव विनोद तावडे ने संवाददाताओं से, ‘‘ फडणवीस, एकनाथ शिंदे और अजित पवार ने मिलकर काम किया और लोगों का भरोसा जीता। शरद पवार ने शिवसेना और भाजपा के स्वाभाविक गठबंधन को तोड़ दिया। इससे बालासाहेब ठाकरे के वोटर नाराज थे।’’
उन्होंने शिवसेना नेता संजय राउत का नाम लिए बिना कहा, ‘‘हर दिन, भांडुप से कोई न कोई व्यक्ति राज्य की राजनीति को दूषित करता है।’’ राउत भांडुप के ही निवासी हैं।
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए मतों की गिनती शनिवार सुबह आठ बजे शुरू हुई। इस चुनाव में सभी की निगाहें सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत महायुति और सत्ता में वापसी की कोशिश में जुटे महा विकास आघाडी (एमवीए) के बीच मुकाबले के नतीजे पर टिकी हैं।
इस बार चुनाव में अंतिम मतदान प्रतिशत 66.05 रहा, जो 2019 में 61.1 प्रतिशत था।
महायुति गठबंधन में भारतीय जनता पार्टी ने 149 विधानसभा सीट पर, शिवसेना ने 81 सीट पर और अजित पवार के नेतृत्व वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) ने 59 निर्वाचन क्षेत्रों में उम्मीदवार उतारे थे।
विपक्ष के एमवीए गठबंधन में, कांग्रेस ने 101 उम्मीदवार, शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) ने 95 और राकांपा (शरदचंद्र पवार) ने 86 उम्मीदवार खड़े किए।
बहुजन समाज पार्टी (बसपा) एवं ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहाद-उल-मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) जैसी पार्टी ने भी चुनाव लड़ा, जिसमें बसपा ने 237 उम्मीदवार और एआईएमआईएम ने 17 उम्मीदवार खड़े किए।
वर्तमान राज्य विधानसभा का कार्यकाल 26 नवंबर को समाप्त हो रहा है।
निवर्तमान विधानसभा में भाजपा के 105, शिवसेना के 41, राकांपा के 40, कांग्रेस के 45, शिवसेना (उबाठा) के 15, राकांपा (एसपी) के 12, बीवीए के तीन, समाजवादी पार्टी के दो, एआईएमआईएम के दो विधायक हैं। जबकि प्रहार जनशक्ति पार्टी के दो, मनसे का एक, माकपा का एक, पीडब्लूपी का एक, स्वाभिमानी पक्ष का एक, राष्ट्रीय समाज पक्ष का एक, जन सुराज्य शक्ति का एक, क्रांतिकारी शेतकारी पक्ष का एक और 13 निर्दलीय विधायक हैं।
भाषा Devendra Fadnavis धीरज पवनेश
पवनेश