भोपाल: Political turmoil on Hanuman Jayanti रामनवमी के बाद हनुमान जयंती पर मध्यप्रदेश में घमासान जारी है। एक और नेता बजरंगबली की शरण में पहुंचे। सोशल मीडिया में भी नेताओं की हनुमान भक्ति भी देखते ही बनी। हालांकि आयोजनों को लेकर जमकर एक दूसरे पर निशाना भी साधा। दरअसल सुरक्षा कारणों की वजह से खेड़ापति मंदिर से इस बार चल समारोह नहीं निकली। कांग्रेस ने इसके लिए राज्य सरकार को जिम्मेदार ठहराया। हालांकि गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कांग्रेस के आरोप पर दो टूक कहा कि चल समारोहों की अनुमति जिला प्रशासन की जिम्मेदारी होती है, इसमें सीधे सरकार का कोई दखल नहीं होता।
Political turmoil on Hanuman Jayanti भोपाल में सालों से चली आ रही हनुमान जंयती पर छोला स्थित खेड़ापति हनुमान मंदिर से चल समारोह की परंपरा इस बार टूट गई। दरअसल, खरगोन हिंसा कांड के बाद इंटेलिजेंस के इनपुट के बाद धार्मिक जुलूस की परमिशन निरस्त कर दी गई। मामले पर कांग्रेस ने सरकार की कार्यप्रणाली और कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े किए हैं। कांग्रेस का कहना है कि पूर्व राष्ट्रपति शंकरदयाल शर्मा भी हनुमान जयंती पर इसी मंदिर में पूजा अर्चना करते थे। लेकिन इस बार ये परंपरा टूट गई। कांग्रेस ने इसका जिम्मेदार भी सरकार को बताया। उधर गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कांग्रेस के आरोप पर दो टूक कहा कि चल समारोहों की अनुमति जिला प्रशासन की जिम्मेदारी होती है..इसमें सीधे सरकार का कोई दखल नहीं होता।
मध्यप्रदेश में हनुमान जन्मोत्सव के बीच सियासत भी जारी है। अपने बयानों से सुर्खियों में रहने वाले भोपाल के हुजूर से विधायक रामेश्वर शर्मा ने कांग्रेस पर तंज कसा है। उन्होंने कांग्रेस के हनुमान जन्मोत्सव मनाने को लेकर कहा कि अच्छा है कि कांग्रेसी जन्मोत्सव मना रहे है, लेकिन उन्हें दिग्विजय सिंह को भी थोड़ी समझाइश देनी चाहिए कि वो पत्थरबाजों और दंगाइयों का समर्थन न करें। रामेश्वर ने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर किसी हाथ में पत्थर होगा तो उसके हाथ तोड़ दिएं जाएंगे। इस पर कांग्रेस विधायक पीसी शर्मा ने पलटवार किया। उन्होंने बीजेपी पर माहौल बिगाड़ने का आरोप लगाया।
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5 hours ago