Publish Date - January 18, 2025 / 09:59 AM IST,
Updated On - January 18, 2025 / 11:30 AM IST
इंदौर: Beggar Free Indore देश के सबसे स्वच्छ शहर इंदौर को अब भिखारी मुक्त शहर बनाने की पहल तेज हो गई है। अब भीख मांगने वालों को पकड़कर आश्रय स्थल भेजा जा रहा है। इससे अब लोगों को भीख देना भी भारी पड़ सकता है। इंदौर जिला कलेक्टर आशीष सिंह के निर्देश पर लगातार कार्रवाई की जा रही है। जिसके तहत अधिकारियों द्वारा टीम बनाया गया है। यह टीम शहर के विभिन्न हिस्सों से मिलने वाले भिक्षुकों को पड़कर आश्रम भेज रहे है। इसी कड़ी में अन्य राज्यों से आने वाले भिक्षुकों को पकड़ने में भी सफलता हाथ लगी है।
Beggar Free Indore कलेक्टर आशीष सिंह का कहना है कि इंदौर शहर में शुरू किया गया भिक्षुक मुक्त अभियान अपनी पूर्णता की और आगे बढ़ रहा है। शहर के जागरूक नागरिकों में भिक्षुकों को भिक्षा देना बंद कर दिया है। अब लोग स्वतः भीख मांगने वालों की सूचना देना भी दे रहे है। अब तक 13 शहरवासियों को 1000 रुपए की राशि देकर सम्मानित भी कर चुके है। जिससे यह अभियान सफल होता दिखाई दे रहा है। कलेक्टर सिंह ने कहा कि इंदौर में भिक्षावृत्ति पर की गई प्रभावी कार्रवाई को अन्य शहर भी लागू कर रहे हैं। जिससे अन्य शहरों में भी यह योजना शुरू की जा रही है।
इंदौर में भिक्षुक मुक्त अभियान की शुरुआत कब हुई?
इंदौर में भिक्षुक मुक्त अभियान हाल ही में शुरू किया गया है, जिसके तहत भिखारीों को पकड़कर आश्रय स्थल भेजा जा रहा है।
इंदौर में भिखारीों को आश्रय स्थल भेजने का मुख्य उद्देश्य क्या है?
इंदौर में भिखारीों को आश्रय स्थल भेजने का उद्देश्य शहर को भिखारी मुक्त बनाना है और भिक्षावृत्ति को रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाना है।
इंदौर के नागरिकों ने इस अभियान में कैसे मदद की है?
इंदौर के नागरिकों ने इस अभियान में सक्रिय रूप से हिस्सा लिया है। उन्होंने भिक्षा देने से परहेज किया है और स्वयं भी भिखारीों की सूचना अधिकारियों को दी है।
कलेक्टर आशीष सिंह के नेतृत्व में क्या कार्रवाई की जा रही है?
कलेक्टर आशीष सिंह के नेतृत्व में अधिकारियों की टीम बनाई गई है, जो शहर के विभिन्न हिस्सों में भिखारीों को पकड़कर उन्हें आश्रय स्थलों पर भेज रही है।
क्या इस भिक्षुक मुक्त अभियान को अन्य शहरों में भी लागू किया जाएगा?
हां, कलेक्टर आशीष सिंह के अनुसार, इंदौर में भिक्षावृत्ति पर की गई कार्रवाई को अन्य शहरों में भी लागू किया जा रहा है और वहां इस अभियान की शुरुआत की जा रही है।