ये है हमारी शिक्षा व्यवस्था! बच्चों को पढ़ाने 500 शिक्षकों ने किराए पर रखे लोग, शिक्षा मंत्री ने ही खुले मंच से किया कबूल, PCC चीफ ने कसा तंज

ये है हमारी शिक्षा व्यवस्था! बच्चों को पढ़ाने 500 शिक्षकों ने किराए पर रखे लोग, Education Minister Uday Pratap Singh said that 500 teachers have hired people to teach children

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  • Publish Date - December 26, 2024 / 01:22 PM IST,
    Updated On - December 26, 2024 / 01:24 PM IST

भोपालः Education Minister Uday Pratap Singh शिक्षा व्यवस्था को लेकर भले ही बड़े-बड़े दावे किए जाते हैं, लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और होती है। समय-समय पर इसकी बानगी भी देखने को मिल जाती है। मध्यप्रदेश में कई ऐसे शिक्षक हैं, जो पढ़ाने के लिए स्कूल नहीं जाते हैं। इन शिक्षकों ने किराए पर एक दूसरे आदमी को पढ़ाने की जिम्मेदारी दे दी है। शिक्षा मंत्री राव उदयप्रताप सिंह ही व्यक्तिगत रूप से 500 शिक्षकों को जानते हैं, जो अपने बदले किसी दूसरे को पढ़ाने के लिए भेजते हैं। शिक्षा मंत्री उदय प्रताप ने सार्वजनिक मंच से इस बात को स्वीकार किया है।

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Education Minister Uday Pratap Singh  दरअसल, सोशल मीडिया पर मंत्री उदय प्रताप सिंह का एक वीडियो जमकर वायरल हो रहा है, जिसमें मंत्री कह रहे हैं कि मैं व्यक्तिगत रूप से 500 शिक्षकों को जानता हूं जो किराए पर लोग लगा रखे हैं। मिली जानकारी के अनुसार अटल विहारी बाजपेयी की जन्म शताब्दी पर रायसेन जिले में आयोजित शिक्षा महाकुंभ को स्कूल शिक्षा मंत्री राव उदयप्रताप ने संबोधित किया। इसमें उन्होंने कहा कि मेरे जिले में असिस्टेंट रखने वाले शिक्षकों की संख्या 100 है। इधर अब इस पर सियासत भी तेज हो चली है।

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मध्यप्रदेश के पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने इस वीडियो को अपने एक्स अकाउंट पर शेयर किया है। उन्होंने लिखा है कि मध्य प्रदेश के शिक्षा मंत्री उदय प्रताप सिंह ने खुद कबूल किया कि 500 शिक्षक स्कूल नहीं जाते और किराए पर लोग लगा रखे हैं। मुख्यमंत्री जी, यह कितनी शर्म की बात है कि आपके मंत्री को पता है कि स्कूलों में शिक्षक नहीं हैं, लेकिन कार्रवाई करने के जगह मंच से इसका महिमामंडन कर रहे हैं।

प्वाइंट्स में ऐसे समझे पूरी खबर

क्या शिक्षा मंत्री ने वास्तव में स्वीकार किया कि शिक्षक स्कूल नहीं जाते?

हां, मध्य प्रदेश के शिक्षा मंत्री राव उदय प्रताप सिंह ने एक सार्वजनिक मंच पर यह स्वीकार किया कि वह व्यक्तिगत रूप से 500 शिक्षकों को जानते हैं जो स्कूल नहीं जाते और इसके बदले में उन्होंने किराए पर दूसरों को पढ़ाने के लिए भेज रखा है।

मंत्री ने यह बयान कब और कहां दिया था?

यह बयान मंत्री राव उदय प्रताप सिंह ने रायसेन जिले में अटल बिहारी वाजपेयी की जन्म शताब्दी के अवसर पर आयोजित शिक्षा महाकुंभ में दिया था।

इस बयान पर सियासत क्यों गर्म हो गई है?

शिक्षा मंत्री के इस बयान के बाद विपक्षी नेताओं ने इस पर हमला बोलते हुए मुख्यमंत्री से कार्रवाई की मांग की है। पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने इस वीडियो को सोशल मीडिया पर शेयर करते हुए कहा कि यह शर्म की बात है कि मंत्री को यह जानकारी है लेकिन कार्रवाई नहीं की जा रही।

क्या इस मुद्दे पर कोई कार्रवाई की गई है?

फिलहाल, मंत्री के बयान के बाद कार्रवाई की कोई स्पष्ट जानकारी सामने नहीं आई है। हालांकि, विपक्षी दलों ने इसे गंभीर मामला बताते हुए सरकार से उचित कदम उठाने की मांग की है।

किराए पर शिक्षक लगाने का यह मामला कितना सामान्य है?

यह मामला असामान्य और गंभीर माना जा रहा है, क्योंकि सरकारी स्कूलों में शिक्षक की नियुक्ति और उपस्थिति सुनिश्चित करना शिक्षा व्यवस्था का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, और इसे लेकर कई तरह की आलोचनाएं उठ सकती हैं।

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