Ministries can be merged in Union Budget : नई दिल्ली। आज की बाजार की तेजी के बारे एक्सपर्ट्स का मानना है कि ये प्री-बजट रैली हो सकती है। बाजार और इंडस्ट्री की बजट से कई प्रकार की अपेक्षाएं हैं। ऐसे में कैपिटल गुड्स में ग्रीन हाइड्रोन, ग्रीन अमोनिया के लिए PLI स्कीम की उम्मीद की जा रही है। वहीं इंफ्रा सेक्टर में बजट में आवंटन 10-15% बढ़कर 2 लाख करोड़ रुपये होने की उम्मीद है।
बैंकिंग और डिफेंस सेक्टर के ये शेयर आपको कर देंगे मालामाल, बजट के बाद आएगी जबर्दस्त तेजी Budget 2023- बजट को लेकर बाजार में कई तरह के कयास लगाए जा रहे है। उनमें से एक यह है कि सरकार इस बजट में डिफेंस सेक्टर को अच्छा अलोकेशन कर सकती है।
आने वाले बजट में हेल्थ केयर सेक्टर को भी सरकार से काफी उम्मीदें हैं। अपोलो हॉस्पिटल हेल्थ केयर सेक्टर से संबंधित जीएसटी नियमों में सुधार की उम्मीद कर रहा है। मौजूदा समय में दवाओं और इंपालाट्स पर जीएसटी लागू है। पिछले साल जुलाई से 1000 रुपये प्रति दिन से ज्यादा अस्पतालों के रूम पर जीएसटी लगा दिया गया है। ऐसे में इस सेक्टर से जुड़े लोगों का कहना है कि हेल्थ केयर के जीएसटी में सुधार होना चाहिए। हेल्थ केयर सेक्टर को इंफ्रास्ट्रक्टर का स्टेटस मिलना चाहिए।
वित्त मंत्री गति शक्ति योजना, नेशनल इंफास्ट्रक्टर पाइपलाइन के लक्ष्यों को बढ़ा सकती हैं। इसके साथ ही इनके लिए फंड में भी इजाफा कर सकती हैं। आम चुनाव के पहले निर्मला सीतरमण के इस आखिरी पूर्व बजट में हाई स्पीड रेल, जल जीवन मिशन, भारत माला, सागर माला स्मार्ट सिटी और आंतरिक जलमार्गों के विकास पर आवंटन बढ़ाया जा सकता है।
Ministries can be merged in Union Budget : मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सरकार आम बजट में रेल, सड़क परिवहन और मेट्रो को जोड़कर एक ही मंत्रालय के तहत ला सकती है। बता दें कि पहले भी बजट में सरकार ने मंत्रालयों के नाम, काम और स्ट्रक्चर में बदलाव किया है। ऐसे में इस की संभावना है कि ट्रांसपोर्टेशन को और बेहतर बनाने के लिए इन सभी मंत्रालयों को एक साथ मर्ज कर दे।
इनकम टैक्स एक्ट की धारा 24 (B) के मुताबिक, टैक्सपेयर्स होम लोन पर भुगतान किए गए ब्याज पर टैक्स डिडक्शन का बेनिफिट ले सकते हैं। हालांकि, इस तरह की कटौती की लिमिट 2 लाख रुपये सालाना है। इसमें वित्त वर्ष 2014-15 के बाद से कोई बदलाव नहीं हुआ है। अब इस लिमिट को 2 लाख रुपये से बढ़ाकर 5 लाख रुपये सलाना करने की मांग हो रही है। वहीं, पिछले कुछ सालों में संपत्तियों की कीमत में वृद्धि के साथ टैक्स डिडक्शन लिमिट बढ़ने की संभावना है।
आज की बाजार की तेजी के बारे एक्सपर्ट्स का मानना है कि ये प्री-बजट रैली हो सकती है। बाजार और इंडस्ट्री की बजट से कई प्रकार की अपेक्षाएं हैं। ऐसे में कैपिटल गुड्स में ग्रीन हाइड्रोन, ग्रीन अमोनिया के लिए PLI स्कीम की उम्मीद की जा रही है। वहीं इंफ्रा सेक्टर में बजट में आवंटन 10-15% बढ़कर 2 लाख करोड़ रुपये होने की उम्मीद है