Makar Sankranti 2023 : नई दिल्ली। सूर्य हर माह मेष से लेकर मीन राशि में गोचर करता है इसलिए हर माह संक्रांति होती है। सूर्य के मकर में गोचर करने को मकर संक्रांति कहते हैं, लेकिन अब परंपरा और प्रचलन से यह माना जाने लगा है कि सूर्य के मकर में प्रवेश करते ही सूर्य उत्तरायण हो जाता है, जबकि इस बात को हमें अच्छे से समझने की जरूरत है कि सचाई क्या है?
Makar Sankranti 2023 : जब सूर्य धनु राशि से निकलकर मकर राशि में प्रवेश करते हैं, तो मकर संक्रांति होती है। इसके साथ ही खरमास समाप्त हो जाते हैं और शादी-विवाह, मुंडन, छेदन जैसे मांगलिक और शुभ काम होना शुरू हो जाते हैं। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, मकर संक्रांति के दिन स्नान के साथ दान करना काफी शुभ माना जाता है। इस दिन ऐसा करने से पापों से मुक्ति मिलने के साथ पुण्य की प्राप्ति होती है।
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पंचांग के अनुसार, सूर्य देव 14 जनवरी 2023 की रात 8 बजकर 21 मिनट पर मकर राशि में प्रवेश करेंगे। ऐसे में उदया तिथि के कारण 15 जनवरी को मकर संक्रांति मनाई जाएगी।
पुण्य काल – 15 जनवरी 2023 को सुबह 7 बजकर 17 मिनट से शाम 5 बजकर 55 मिनट तक
महा पुण्य काल – 15 जनवरी 2023: सुबह 7 बजकर 17 मिनट से सुबह 9 बजकर 04 मिनट तक
मकर संक्रांति के दिन मुहूर्त पर अन्न, तिल, गुड़, वस्त्र, कंबल, चावल, उड़द की दान, मुरमुरे के लड्डू आदि का दान करें। ऐसा करने से सूर्य के साथ-साथ शनिदेव भी प्रसन्न होंगे।