Sushant Singh Rajput Death Anniversary: फैंस के दिलों में आज भी ज़िंदा है सुशांत सिंह.. आज चौथी बरसी पर कर रहे हैं नम आँखों से याद

साल 1986 में बिहार के पटना में रहने वाले सुशांत अपनी पढ़ाई में शुरु से ही काफी अच्छे थे। लेकिन उन्होंने अपने पैशन और सपने के लिए अपनी इंजीनियरिंग तक छोड़ दी थी।

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  • Publish Date - June 14, 2024 / 09:52 AM IST,
    Updated On - June 14, 2024 / 09:53 AM IST

मुंबई: मानव, के नाम सुशांत सिंह राजपूत को सब जानते थे। उनकी पहचान मानव नाम से शुरु हुई थी, अपने करियर की शुरुआत उन्होंने टीवी सिरियल पवित्र रिश्ता से की थी। ये शो ऑनएयर होते ही टॉप पर चला गया था। हर जगह इस शो की ही बात होती थी। सुशांत सिंह अपनी जिंदगी का वो सपना जी रहे थे जो उन्होंने ख्वाबों में देखा था।

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Sushant Singh Rajput Death Anniversary

साल 1986 में बिहार के पटना में रहने वाले सुशांत अपनी पढ़ाई में शुरु से ही काफी अच्छे थे। लेकिन उन्होंने अपने पैशन और सपने के लिए अपनी इंजीनियरिंग तक छोड़ दी थी। ऐसा करने पर उनके परिवार ने भी उनका पूरा साथ दिया था।

कड़ी मेहनत से बॉलीवुड में बनाई पहचान

2 साल तक टीवा सीरियल में काम करने के बाद मानव ने बॉलीवुड इंडस्ट्री की दुनिया में अपना कदम रखा था। सुशांत ने साल 2013 में आई फिल्म काई पो चे, से उन्होंने सिल्वर स्क्रीन पर डेब्यू किया और फिर बड़ी स्क्रीन का हीरो बन सबके चहेते बन गए। फिर चाहे “एम।एस। धोनी: द अनटोल्ड स्टोरी”,“डिटेक्टिव ब्योमकेश बक्शी” से लेकर “केदारनाथ” और “छिछोरे” और “सोनचिड़िया” हो, सुशांत सिंह राजपूत देश के बच्चे-बच्चे के फेवरेट हीरों बन गए।

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Sushant Singh Rajput Death Mistry

सुशांत की इस सीख को युवा करते फॉलो

सुशांत सिंह राजपूत न केवल अपनी एक्टिंग के लिए जाने जाते थे बल्कि उनकी बातों से भी लोगों को अलग जुड़ावु था। उनकी एक बात है जो आजकल के युवा के लिए बड़ी सीख है वो ये है कि “पास्ट के बारे में मैं नहीं सोचता क्योंकि उसमें मेरा कंट्रोल नहीं, फ्यूचर में क्या होगा हमें मालूम नहीं तो अपने आज को बेहतर बनाते हैं” जहां आज की जनरेशन किताबों से दूर भागती हैं, वहीं उनके पास एक पर्सनल लाइब्रेरी थी। अपनी दयालुता, हिम्मत, अपने सपने साकार करने के लिए कड़ी मेहनत, उनका हर एक रोल, हर शब्द उनके फैंस के लिए मायने रखते हैं।

फैंस के दिलों में हमेशा जिंदा सुशांत

मुंबई की माया नगरी जितनी शानदार और चमकती नजर आती है, पर वो उतनी ही अंधेरों से भरी हुई है, वहां पर अपने लिए जगह बनाना काफी मुश्किल है। अपने 7 साल के बड़े पर्द के सफर में सुशांत ने लाखों फैंस से प्यार कमाया,सुशांत से आज हम यही सिखते हैं कि सपने देखने लिए खुले आसमान की जरुरत होती है और उनको पूरा करने के लिए कड़ी मेहनत।

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