indian groom and-russian bride: शादी का बंधन कोई सरहद,सीमा नहीं देखता है। दिल जहां लगे वहीं जीवन साथ बिताने की रस्में खाई जाती हैं। एक दूजे के हो जाते हैं। कुशीनगर में एक ऐसी शादी सुर्खियों में है, जिसमें सरहदों की दीवारें गिर गईं और ये साबित कर दिया कि प्यार सच्चा है, तो मजहब और सरहदीं पहरों का कोई मतलब नहीं। दुल्हन जो कि रुस की जोया हैं और दूल्हा कुशीनगर के दीपक हैं। 〈 >>*IBC24 News Channel के WHATSAPP ग्रुप से जुड़ने के लिएयहां Click करें*<< 〉
ऑस्ट्रिया के एलेनिया स्टेट की रहने वालीं जोया ने जब सबकुछ छोड़ दीपक के साथ जाना तय किया तो फिर दीपक ने भी आगे बढ़कर जोया का हाथ थाम लिया। दिलचस्प बात यह रही कि दूल्हा-दुल्हन तो हिन्दुस्तानी और रशियन रहे, मगर दुल्हन का साथ देने पहुंचे इजरायल के रहने वाले उनके दोस्त डेनियल अल्फांसो, जो हिन्दुस्तानी वेडिंग के मुरीद हो गए।
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ये दोनों मेडिकल की पढ़ाई साथ में कर रहे थे। कुशीनगर के रहने वाले डॉ। दीपक सिंह से ब्याह रचाने जब रशिया की जोया दुल्हन बनकर पहुंची तो हर कोई हैरान रह गया। क्योंकि जिले में ऐसा पहली बार हुआ है, जब कोई सरहद पार की दुल्हन खुद हिन्दुस्तानी बनने के लिए विदेश से आई है। कुशीनगर के मंगलपुर गांव के रहने वाले दीपक मेडिकल की पढ़ाई के लिए ऑस्ट्रिया पहुंचे थे, जहां जोया जो अब डॉ. जया सिंह बन चुकी हैं, उनसे आंखें चार हुईं। नजदीकियां बढ़ीं और फिर प्यार के आगे सरहदों की दीवारें छोटी पड़ गईं।