Assistant Professor Bharti Rules Change: असिस्टेंट प्रोफेसर भर्ती के नियमों में होगा बदलाव, अब ये लोग भी होंगे पात्र, जानें यूजीसी की प्लानिंग

असिस्टेंट प्रोफेसर भर्ती के नियमों में होगा बदलाव, UGC proposes changes in the rules for recruitment of Assistant Professor

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  • Publish Date - January 7, 2025 / 09:15 AM IST,
    Updated On - January 7, 2025 / 09:38 AM IST

नई दिल्ली: Assistant Professor Bharti Rules Change विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के मसौदा मानदंडों के अनुसार, उद्योग जगत के विशेषज्ञों के साथ-साथ लोक प्रशासन, लोक नीति और सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों के वरिष्ठ पेशेवर भी कुलपति के रूप में नियुक्ति के लिए जल्द ही पात्र होंगे। नए दिशा-निर्देश विश्वविद्यालयों में संकाय सदस्यों की नियुक्ति के मानदंडों में भी संशोधन करेंगे, जिनके तहत कम से कम 55 प्रतिशत अंकों के साथ ‘मास्टर ऑफ इंजीनियरिंग’ (एम.ई.) और ‘मास्टर्स ऑफ टेक्नोलॉजी’ (एम.टेक.) में स्नातकोत्तर डिग्री रखने वाले लोगों को विश्वविद्यालय अनुदान आयोग राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा (नेट) उत्तीर्ण किए बिना सहायक प्रोफेसर स्तर पर सीधे भर्ती किए जा सकने की अनुमति मिल जाएगी। मसौदा मानदंड उम्मीदवारों को उनकी उच्चतम शैक्षणिक विशेषज्ञता के आधार पर पढ़ाने की अनुमति भी देंगे। उदाहरण के लिए, रसायन विज्ञान में पीएचडी, गणित में स्नातक और भौतिकी में स्नातकोतर डिग्री वाला उम्मीदवार अब रसायन विज्ञान पढ़ाने के लिए योग्य होगा।

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इसी तरह, जो व्यक्ति अपने पूर्व के शैक्षणिक विषयों से अलग किसी विषय में राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा पास करते हैं, वे उस विषय को पढ़ा सकेंगे जिसमें उन्होंने नेट के लिए अर्हता प्राप्त की थी। यूजीसी के अध्यक्ष जगदीश कुमार के अनुसार, यूजीसी (विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में शिक्षकों और शैक्षणिक कर्मचारियों की नियुक्ति और पदोन्नति के लिए न्यूनतम योग्यता और उच्च शिक्षा में मानकों के रखरखाव के लिए उपाय) विनियम, 2025, 2018 के दिशानिर्देशों का स्थान लेंगे।

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इससे पहले, कुलपति पद के लिए उम्मीदवारों का ऐसा प्रतिष्ठित शिक्षाविद होना आवश्यक था, जिनके पास विश्वविद्यालय में प्रोफेसर के रूप में या प्रमुख अनुसंधान या शैक्षणिक प्रशासनिक भूमिका में कम से कम 10 साल का अनुभव हो। अब, उद्योग, सार्वजनिक प्रशासन, सार्वजनिक नीति या सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों में कम से कम 10 साल के वरिष्ठ स्तर के अनुभव वाले ऐसे व्यक्ति भी कुलपति के पद के लिए भी पात्र हैं जिनका शैक्षणिक रिकॉर्ड अच्छा है।

यहां मिलेगा हर सवालों का जवाब

क्या अब उद्योग जगत के लोग कुलपति के पद के लिए योग्य होंगे?

हां, अब उद्योग जगत के विशेषज्ञ, सार्वजनिक नीति और प्रशासन में वरिष्ठ स्तर के पेशेवर कुलपति के पद के लिए पात्र होंगे, बशर्ते उनका शैक्षणिक रिकॉर्ड अच्छा हो।

क्या सहायक प्रोफेसर के पद पर भर्ती के लिए NET परीक्षा की आवश्यकता नहीं होगी?

हां, अब एम.ई. और एम.टेक. में कम से कम 55 प्रतिशत अंकों के साथ उम्मीदवारों को NET परीक्षा पास किए बिना सहायक प्रोफेसर के पद पर भर्ती किया जा सकेगा।

क्या शैक्षणिक विशेषज्ञता के आधार पर पढ़ाने की अनुमति दी जाएगी?

हां, उम्मीदवारों को उनकी उच्चतम शैक्षणिक विशेषज्ञता के आधार पर पढ़ाने की अनुमति दी जाएगी, जैसे रसायन विज्ञान में पीएचडी करने वाला व्यक्ति रसायन विज्ञान पढ़ा सकता है, भले ही वह अन्य विषयों में स्नातक हो।

क्या कुलपति के पद के लिए अब शैक्षणिक अनुभव की आवश्यकता नहीं होगी?

नहीं, कुलपति के पद के लिए अब शैक्षणिक अनुभव की आवश्यकता होगी, लेकिन इसके अलावा उद्योग, सार्वजनिक प्रशासन या सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों में 10 साल का वरिष्ठ अनुभव भी योग्य उम्मीदवार बनाने के लिए पर्याप्त होगा।

नई दिशा-निर्देशों के तहत शिक्षकों की नियुक्ति में क्या बदलाव होंगे?

नई दिशा-निर्देशों के तहत शिक्षकों की नियुक्ति में अब उच्चतम शैक्षणिक योग्यता के आधार पर नियुक्ति की जाएगी, जिससे उन उम्मीदवारों को भी मौका मिलेगा जिनके पास NET की परीक्षा का परिणाम नहीं है।

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