नई दिल्ली : New Satellite-Based Toll Collection System : केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने मौजूदा टोल सिस्टम को लेकर बड़ा फैसला लिया है। केंद्रीय परिवहन मंत्री गडकरी ने मौजूदा टोल सिस्टम को खत्म करने का फैसला लिया है। इसके साथ ही केंद्रीय मंत्री गडकरी ने सैटेलाइट टोल कलेक्शन सिस्टम लॉन्च करने की घोषणा की है। केंद्रीय म्नत्री गडकरी ने बड़ी घोषणा करते हुए बताया कि, सरकार टोल खत्म कर रही है और जल्द ही सैटेलाइट आधारित टोल संग्रह प्रणाली शुरू की जाएगी। इस सिस्टम को लागू करने के पीछे का उद्देश्य टोल कलेक्शन को बढ़ाना और टोल प्लाजा पर लगने वाली भीड़ को कम करना है।
राज्यसभा में एक लिखित जवाब देते हुए भी उन्होंने कहा था कि, सड़क परिवहन और हाईवे मंत्रालय वैश्विक नेविगेशन सैटेलाइट सिस्टम (GNSS) लागू करने जा रहा है। ये अभी सिर्फ चुनिंदा टोल प्लाजा पर होगा। इससे पहले नितिन गडकरी ने कहा था, “अब हम टोल खत्म कर रहे हैं और सैटेलाइट आधारित टोल संग्रह प्रणाली होगी। आपके बैंक खाते से पैसे कटेंगे और आप जितनी दूरी तय करेंगे, उसके हिसाब से शुल्क लिया जाएगा। इससे समय और पैसे की बचत होगी। पहले मुंबई से पुणे जाने में 9 घंटे लगते थे, अब यह घटकर 2 घंटे रह गया है।”
New Satellite-Based Toll Collection System : 25 जून, 2024 को जीएनएसएस-बेस्ड सिस्टम पर हितधारकों से परामर्श करने के लिए एक इंटरनेशनल वर्कशॉप आयोजित की गई थी। इसके बाद 7 जून, 2024 को वैश्विक अभिरुचि अभिव्यक्ति (ईओआई) प्रस्तुत की गई, जिसमें व्यापक औद्योगिक भागीदारी को आमंत्रित किया गया। ईओआई प्रस्तुत करने की आखिरी तारीख 22 जुलाई, 2024 थी।
New Satellite-Based Toll Collection System : इससे पहले दिसंबर में, नितिन गडकरी ने घोषणा की थी कि, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) का टारगेट मार्च 2024 तक इस नई प्रणाली को लागू करना है। टोल प्लाजा पर प्रक्रियाओं को सुव्यवस्थित करने और वेटिंग टाइम को कम करने के प्रयासों के बारे में वर्ल्ड बैंक को सूचित किया गया है। FASTag की शुरुआत के साथ, टोल प्लाजा पर औसत प्रतीक्षा समय में उल्लेखनीय कमी आई है। कर्नाटक में NH-275 के बेंगलुरु-मैसूर खंड और हरियाणा में NH-709 के पानीपत-हिसार खंड पर इसको आजमाया चा जुका है।