नई दिल्ली। मोदी सरकार ने केंद्रीय कर्मचारियों को राहत देते हुए बड़ी घोषणा की है, कार्मिक मंत्रालय के एक आदेश के अनुसार, कोरोना वायरस लॉकडाउन के दौरान पब्लिक ट्रांसपोर्ट नहीं होने की वजह से कर्मचारियों को परेशानियां हो रही है, इसीलिए कर्मचारियों को आफिस नहीं आने के नियमों में ढील दी है। यह नियम ऐसे लोगों के लिए भी हैं, जो या तो छुट्टी पर थे या आधिकारिक दौरे पर है।
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यह कदम सरकार की ओर से तब आया है जब कई कर्मचारियों ने इस संदर्भ में पूछताछ की है। जो आवश्यक अनुमति के साथ छुट्टी पर चले गए, लेकिन यात्रा प्रतिबंधों के कारण ड्यूटी ज्वाइन नहीं कर सके। केंद्र सरकार, ने उन कर्मचारियों को ढील देने का फैसला किया है, जो या तो छुट्टी पर थे या आधिकारिक दौरे पर थे और कोरोनोवायरस लॉकडाउन के दौरान सार्वजनिक परिवहन नहीं मिलने के चलते कार्यालय नहीं पहुंच सके।
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कोरोना वायरस लॉकडाउन में दफ्तर नहीं पहुंच पाने की असमर्थता जताते हुए कई कर्मचारियों ने सरकार को इस बारे में बताया, इसीलिए सराकर ने ये कदम उठाया है। मंगलवार को जारी कार्मिक मंत्रालय के आदेश के अनुसार, 25 मार्च को देशव्यापी तालाबंदी लागू होने से पहले सरकारी कर्मचारियों के लिए यही प्रावधान लागू है। अधिसूचना में कहा गया है, चिकित्सा आधार पर छुट्टी के मामले में, यह मेडिकल / फिटनेस प्रमाण पत्र के आधार के अधीन है।
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