ट्रांसजेंडर्स को सरकार ने दी बड़ी राहत, उनका ये कृत्य अब नहीं माना जाएगा अपराध

ट्रांसजेंडर्स को सरकार ने दी बड़ी राहत, उनका ये कृत्य अब नहीं माना जाएगा अपराध

  •  
  • Publish Date - July 15, 2019 / 08:47 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:33 PM IST

नई दिल्ली। ट्रांसजेंडर्स द्वारा भीख मांगना अब अपराध नहीं है। केंद्र सरकार ने ‘ट्रांसजेंडर्स पर्सन्स (प्रोटेक्शन ऑफ राइट्स) विधेयक, 2019 के विवादित प्रावधान को हटा लिया गया है। इस विधेयक को केंद्रीय कैबिनेट ने बुधवार को मंजूरी दे दी है। अब इसे संसद में पेश किया जाएगा। विधेयक में से उस प्रावधान को भी अलग कर दिया गया है जिसके चलते ट्रांसजेंडर को अपने समुदाय का होने की वैधानिक मान्यता के लिए जिला स्क्रीनिंग कमेटी के समक्ष पेश होना अनिवार्य था।

ये भी पढ़ें- एक लाख के इनामी समेत 8 नक्सलियों का सरेंडर, ग्रामीणों ने किया पुलिस…

सामाजिक न्याय एवं अधिकारिकता मंत्रालय के एक अधिकारीके मुताबित अब विधेयक से भीख शब्द हटा लिया गया है जबकि अन्य सभी बातें पहेल जैसी ही हैं। ट्रांसजेंडर समुदाय ने इस प्रावधान पर आपत्ति करते हुए कहा था कि सरकार उन्हें रोजी-रोटी का कोई विकल्प दिए बगैर ही उन्हें भीख मांगने से रोक रही है।

ये भी पढ़ें- बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष- कांग्रेस के वित्त मंत्री में जुबानी जंग, टाईग…

पहले इस विधेयक के अध्याय 8 के सेक्शन 19 में यह उल्लेखित था कि सरकार की तय की गई सेवाओं अथवा नौकरियों से अलग अगर कोई ट्रांसजेंडर भीख मांगने या मंगवाने का काम करता है या जबरन किसी को कोई काम करने के लिए मजबूर करता है। या कोई उसे मजबूर करता है तो कम से कम छह महीने की सजा का प्रावधान किया गया था। इस सजा की न्यूनतम अवधि छह महीने थी, जिसे अधिकतम दो सालों तक बढ़ाया जा सकता था। कैद के अलावा इसमें जुर्माना भी देना पड़ता था। लेकिन अब इस नियम को भीख मांगने के लिए बदल दिया गया है।

<iframe width=”560″ height=”315″ src=”https://www.youtube.com/embed/X5UBaz-dBLk” frameborder=”0″ allow=”accelerometer; autoplay; encrypted-media; gyroscope; picture-in-picture” allowfullscreen></iframe>