(गौरव सैनी और सागर कुलकर्णी)
नयी दिल्ली, 18 जनवरी (भाषा) विश्व मौसम विज्ञान संगठन (डब्ल्यूएमओ) की प्रमुख सेलेस्टे साउलो ने कहा है कि जलवायु सेवाओं की गुणवत्ता के मामले में भारत बहुत अच्छी स्थिति में है और वह विकास एजेंडे में मजबूत मौसम विज्ञान सेवाओं की अहम भूमिका को समझता है।
साउलो ने यहां ‘पीटीआई-भाषा’ को दिए साक्षात्कार में बताया कि मौसम विज्ञान और जलवायु सेवाएं अर्थव्यवस्था के सभी क्षेत्रों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं, जिनमें साधन, परिवहन, पर्यटन, ऊर्जा और कृषि आदि शामिल हैं।
हालांकि, उन्होंने यह भी बताया कि भारत के विपरीत, कई विकासशील देशों ने अभी तक इन सेवाओं का अपने विभिन्न क्षेत्रों के साथ पूरी तरह से समेकन नहीं किया है।
अक्षय ऊर्जा में मौसम सेवाओं की भूमिका पर प्रकाश डालते हुए साउलो ने कहा, ‘‘यदि आप अक्षय ऊर्जा – पवन, सौर और जलविद्युत – के बारे में सोचते हैं, तो वे सभी मौसम पर निर्भर करती हैं। अक्षय ऊर्जा की दिशा में आगे बढ़ने के लिए एक मजबूत मौसम सेवा की जरूरत है। भारत पूरे विकास एजेंडे में मौसम सेवा की महत्वपूर्ण भूमिका को समझता है लेकिन कई विकासशील देश अभी तक वहां नहीं पहुंचे हैं।’’
यहां भारत मौसम विज्ञान विभाग की स्थापना के 150 वर्षगांठ साल समारोह में हिस्सा ले रहीं साउलो ने कहा, ‘‘मौसम विज्ञान और जलवायु सेवाओं की गुणवत्ता के मामले में भारत बहुत अच्छी स्थिति में है, जिसका श्रेय भारतीय मौसम विज्ञान विभाग को जाता है।’’
उन्होंने कहा कि आईएमडी का 150 वर्ष पूरा होना एक अद्वितीय उपलब्धि है।
उन्होंने कहा, ‘‘भारत जैसे विकासशील देश से मेरी अपेक्षा है कि वह मौसम सेवाओं की भूमिका को सुदृढ़ बनाए, न केवल टीवी पर मौसम पूर्वानुमान के प्रदाता के रूप में, बल्कि जलवायु अनुकूलन, उत्पादकता, ऊर्जा परिवर्तन और लोगों के जीवन को सुरक्षित करने के लिए महत्वपूर्ण जानकारी के प्रदाता के रूप में भी।’’
सटीक मौसम पूर्वानुमान के व्यापक आर्थिक निहितार्थों को रेखांकित करते हुए उन्होंने कहा, ‘‘अच्छे मौसम पूर्वानुमान का मूल्य निवेशकों, व्यवसायों, उत्पादकता, साधन, परिवहन, पर्यटन (और) हर चीज के लिए बहुत बड़ा है। क्या आप किसी ऐसी गतिविधि के बारे में सोच सकते हैं जो मौसम से प्रभावित न हो?’’
उन्होंने विकासशील देशों के संदर्भ में चेतावनी दी, ‘‘यदि आप निर्णय लेने की प्रक्रिया में मौसम संबंधी जानकारी का उपयोग नहीं करते हैं, तो आप अपने व्यवसाय से सर्वोत्तम लाभ प्राप्त करने का अवसर खो देते हैं।’’
भाषा राजकुमार माधव
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