SBI on Electoral Bond Latest News : नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के झटके के बाद SBI ने चुनावी बॉन्ड मामले में एससी में हलफनामा दाखिल कर दिया है। भारतीय स्टेट बैंक के अध्यक्ष ने सुप्रीम कोर्ट में एक हलफनामा दायर कर बताया कि कोर्ट के आदेश के अनुपालन में, प्रत्येक चुनावी बांड की खरीद की तारीख, खरीदार का नाम और खरीदे गए चुनावी बांड के रकम का उल्लेख किया गया है।
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पालन करते हुए स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने मंगलवार को चुनावी बॉन्ड से संबंधित जानकारियां इलेक्शन कमीशन को मुहैया करवाई। आज कोर्ट में हलफनामा दायर करने के बाद एसबीआई के सीएमडी दिनेश खारा ने कहा कि उन्होंने कोर्ट के आदेशों का पालन किया है। बैंक ने चुनावी बॉन्ड की खरीद और बिक्री से संबंधित सभी जानकारियों की एक रिपोर्ट तैयार कर कोर्ट के आदेश के मुताबिक समय रहते ही इलेक्शन कमीशन को मुहैया करवाया।
SBI के चेयरमैन ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दाखिल कर बताया कि 1 अप्रैल 2019 से 15 फरवरी 2024 के बीच 22,217 चुनावी बॉन्ड खरीदे गए हैं। SBI ने सुप्रीम कोर्ट को आगे बताया कि 12 अप्रैल, 2019 से 15 फरवरी, 2024 तक खरीदे गए चुनावी बॉन्ड की कुल संख्या 18,871 थी और भुनाए गए बॉन्ड की कुल संख्या 20,421 थी।
सुप्रीम कोर्ट के इस आदेश के अनुपालन में SBI ने 12 मार्च को सभी जानकारी और डाटा चुनाव आयोग को सौंप दिया था। कोर्ट ने कहा था कि, समयसीमा के भीतर निर्देशों का पालन नहीं करने पर न्यायालय जानबूझकर अवज्ञा के लिए SBI के खिलाफ कार्यवाही कर सकता है। इसी आदेश के अनुपालन में हलफनामा दायर किया गया है।
साल 2017 में केंद्र सरकार ने इलेक्टोरल बॉन्ड स्कीम की घोषणा की थी। इसे 29 जनवरी 2018 को कानूनी रूप से लागू किया गया था। सरकार का कहना था कि चुनावी चंदे में ‘साफ-सुथरा’ धन लाने और ‘पारदर्शिता’ बढ़ाने के लिए इस स्कीम को लाया गया है।
एसबीआई की 29 ब्रांचों से अलग-अलग रकम के इलेक्टोरल बॉन्ड जारी किए जाते हैं। ये रकम एक हजार से लेकर एक करोड़ रुपये तक हो सकती है। इसे कोई भी खरीद सकता है और अपनी पसंद की राजनीतिक पार्टी को दे सकता है।
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