राजस्थान 2030 तक 125 गीगावाट क्षमता का योगदान करने के लक्ष्य के साथ इस प्रयास में अग्रणी है : मंत्री

राजस्थान 2030 तक 125 गीगावाट क्षमता का योगदान करने के लक्ष्य के साथ इस प्रयास में अग्रणी है : मंत्री

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  • Publish Date - December 11, 2024 / 01:08 AM IST,
    Updated On - December 11, 2024 / 01:08 AM IST

जयपुर, 10 दिसंबर (भाषा) राजस्थान के संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल ने मंगलवार को कहा कि प्रदेश 2030 तक 125 गीगावाट क्षमता का योगदान करने के लक्ष्य के साथ इस प्रयास में अग्रणी है।

यहां आयोजित किए जा रहे राइजिंग राजस्थान वैश्विक निवेश सम्मेलन-2024 के दूसरे दिन नवीकरणीय ऊर्जा पर ध्यान केंद्रित करते हुए सत्र आयोजित किया गया।

जोगाराम पटेल ने अपने संबोधन में कहा, “प्रधानमंत्री के 2030 तक 500 गीगावाट नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता बनाने के दृष्टिकोण से प्रेरित होकर राजस्थान 125 गीगावाट क्षमता का योगदान करने के लक्ष्य के साथ इस प्रयास में अग्रणी है।”

उन्होंने कहा, “हमारे मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने भी राज्य के बिजली अधिशेष बनने के दृष्टिकोण को रेखांकित किया है।”

इस अवसर पर मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि सड़क, रेलवे, हवाई अड्डे, सिंचाई परियोजना और ऊर्जा जैसे क्षेत्रों में हमारी डबल इंजन की सरकार के प्रयासों से राज्य के बुनियादी ढांचे की तस्वीर बदल रही है।

उन्होंने कहा कि प्रदेश में बुनियादी सड़क तंत्र को विकसित करने में सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय का भी विशेष सहयोग है।

उन्होंने कहा, ‘‘निकट भविष्य में, हम अपने किसानों को विश्वसनीय सिंचाई और बिजली की निरंतर आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए एक व्यापक जल प्रबंधन प्रणाली लागू करेंगे। राजस्थान को बिजली क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने की हमारी प्रतिबद्धता अटूट है।’’

केंद्रीय कृषि और किसान कल्याण मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा, ‘‘खेती के लिए मजदूर मिलना मुश्किल होता जा रहा है, यही वजह है कि हम दक्षता और उत्पादकता सुनिश्चित करने के लिए मशीनीकृत खेती पर जोर दे रहे हैं। हम अपने किसानों के लिए न्यूनतम ब्याज दरों पर ऋण प्राप्त करना आसान बनाने के लिए अथक प्रयास कर रहे हैं।’’

राजस्थान सरकार के कृषि मंत्री किरोड़ी लाल मीणा ने कहा कि राजस्थान एक कृषि प्रधान राज्य होने के साथ-साथ डेयरी उत्पादों और पशुपालन वाला राज्य है।

भाषा कुंज

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