Oxytocin In Milk: दूध रोजाना की जिंदगी में इस्तेमाल होने वाली काफी महत्वपूर्ण चीज है। सुबह की चाय से लेकर रात तक इसका इस्तेमाल होता है। लेकिन क्या आपको पता है कि जिस दूध का आप सेवन कर रहे हैं वो कितना सुरक्षित है। दरअसल, पूरे देश में गाय-भैंस का दूध बढ़ाने के लिए ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन का अंधाधुंध इस्तेमाल हो रहा है। जिसे लेकर दिल्ली हाई कोर्ट ने दिल्ली सरकार को इस मामले में ऑक्सीटोसिन के इस्तेमाल की जांच करने को कहा है। कोर्ट ने कहा-ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन लगाना पशुओं के साथ क्रूरता है। साथ ही दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली पुलिस समेत अन्य एजेंसियों को डेयरी कॉलोनियों में ऑक्सीटोसिन के गलत उपयोग के खिलाफ कार्रवाई करने का निर्देश दिया है।
दरअसल, दिल्ली हाई कोर्ट में एक रिपोर्ट दाखिल हुई है। जिसमें रिपोर्ट में दावा किया गया है कि जो दूध दिल्ली में सप्लाई हो रहा है उसमें ऑक्सीटोसिन का इस्तेमाल किया जा रहा है जिसे केंद्र सरकार 2018 में बैन कर चुकी है। तब सरकार की ओर से दावा किया गया था कि दूध की पैदावार बढ़ाने के लिए मवेशियों पर इसका गलत इस्तेमाल किया जा रहा है जिससे ना केवल मवेशियों बल्कि दूध का सेवन करने वाले लोगों पर भी इसका गलत असर पड़ रहा है।
सेहत के लिए है खतरनाक
बता दें कि भारत में 65 फीसदी डेयरी फॉर्म ऑक्सीटोसिन का इस्तेमाल कंसंट्रेट फीडिंग में करते हैं। वहीं 13 फीसदी दूध बढ़ाने के लिए इसका इस्तेमाल करते हैं। ऑक्सीटोसिन वैसे तो प्यार बढ़ाने वाला प्राकृतिक हॉर्मोन है, मगर इसे आर्टिफिशियल तरीके से इस्तेमाल किया जाए तो यह सेहत का खतरनाक भी बन सकता है। हालांकि, सरकार ने इसकी खुलआम बिक्री पर रोक लगा रखी है, मगर मेडिकल स्टोर्स पर यह अब भी धड़ल्ले से बिकती है।
ऑक्सीटोसिन वाला दूध पीने से बच्चों का हाजमा खराब
Oxytocin In Milk: ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन लगे दूध को पीने से 5 साल तक के बच्चों का पाचन खराब हो सकता है। उनकी आंखों पर चश्मा चढ़ सकता है। 5 से 15 तक के बच्चों का विकास बाधित हो सकता है। 15 से 30 साल के युवाओं में हॉर्मोनल असंतुलन हो सकता है, जिसे चिड़चिड़ापन, डिप्रेशन की शिकायत हो सकती है। ऐसा दूध पीने से प्रेग्नेंट महिलाओं में अबॉर्शन का खतरा बढ़ जाता है। उनकी इम्युनिटी बिगड़ सकती है। उन्हें स्तन कैंसर तक का भी खतरा हो सकता है। वहीं, 45 पार के लोगों को ऐसा दूध पीने से पेट हमेशा खराब रह सकता है।