नयी दिल्ली, 26 दिसंबर (भाषा) इस वर्ष हुए लोकसभा चुनाव में छह राष्ट्रीय दलों का मत प्रतिशत (कुल पड़े वैध मतों में से) 63 फीसदी से अधिक रहा।
ये छह दल हैं -भारतीय जनता पार्टी (भाजपा), कांग्रेस, बहुजन समाज पार्टी (बसपा), मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी, आम आदमी पार्टी (आप) और नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी)।
निर्वाचन आयोग की ओर से बृहस्पतिवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, छह मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय दलों के अलावा, 47 मान्यता प्राप्त राज्य स्तरीय दलों और 690 पंजीकृत, गैर-मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों ने संसदीय चुनावों में भाग लिया।
आंकड़ों के अनुसार 3,921 निर्दलीय उम्मीदवारों ने चुनाव लड़ा लेकिन उनमें से केवल सात ही निर्वाचित हुए। इसके अलावा 3,905 निर्दलीय उम्मीदवारों की जमानत जब्त हो गई। कुल वैध मतों में उनका मतप्रतिशत 2.79 रहा।
चुनाव आयोग ने बताया कि 3,921 निर्दलीय उम्मीदवारों में से 279 महिलाएं थीं।
इस वर्ष नोटा (इनमें से कोई नहीं) को 63,71,839 या 0.99 प्रतिशत मत मिले, जबकि 2019 में यह 1.06 प्रतिशत था। इस वर्ष 97.97 करोड़ मतदाता अपने मताधिकारों का इस्तेमाल करने के पात्र थे जबकि 2019 में यह संख्या 91.19 करोड़ थी।
चुनाव आयोग ने कहा कि इन पंजीकृत मतदाताओं में से 2024 में 64.64 करोड़ ने वोट डाला, जबकि 2019 में यह संख्या 61.4 करोड़ रही।
निर्वाचन आयोग के अनुसार मतदाता सूची में नाम दर्ज कराने वाले किसी भी भारतीय नागरिक को मतदाता माना जाता है।
भाषा
शोभना अविनाश
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