तिरुवनंतपुरम, 17 जनवरी (भाषा) केरल की एक अदालत ने अपने पुरुष मित्र
की 2022 में की गई हत्या के मामले में शुक्रवार को मुख्य आरोपी ग्रीष्मा को दोषी करार दिया।
मृतक शैरोन राज (23) मूल रूप से तिरुवनंतपुरम जिले के परसाला का रहने वाला था।
नेय्याट्टिनकारा के अतिरिक्त जिला सत्र न्यायालय ने ग्रीष्मा के रिश्तेदार निर्मलकुमारन नायर को भी सबूत नष्ट करने का दोषी पाया। ग्रीष्मा की मां सिंधु मामले में सह आरोपी थी लेकिन उन्हें सबूतों के अभाव में बरी कर दिया।
सत्र न्यायालय के न्यायाधीश ए. एम. बशीर ने यह फैसला सुनाया और सजा शनिवार को सुनाई जाएगी।
ग्रीष्मा को भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की विभिन्न धाराओं के तहत दोषी पाया गया, जिसमें हत्या (भारतीय दंड संहिता की धारा 302) भी शामिल है, जबकि उसके रिश्तेदार को आईपीसी की धारा 201 के तहत दोषी करार दिया गया।
अभियोजन पक्ष ने बताया कि राज को मुख्य आरोपी ने 14 अक्टूबर 2022 को तमिलनाडु के कन्याकुमारी जिले के रामवरमनचिराई स्थित अपने घर पर किसी बहाने बुलाया और खरपतवार को नष्ट करने में इस्तेमाल किये जाने वाले पैराक्वाट को आयुर्वेदिक टॉनिक में मिलाकर उसे पिला दिया।
उसने बताया कि राज की 11 दिन बाद 25 अक्टूबर 2022 को अस्पताल में मौत हो गई। घातक मिश्रण पीने के बाद उसके कई अंगों ने काम करना बंद कर दिया था।
अभियोजन पक्ष के मुताबिक, ग्रीष्मा (तब 22 वर्ष) ने हत्या की साजिश उस वकत रची थी, जब नागरकोइल के एक सैन्यकर्मी से उसकी शादी तय होने के बाद राज ने अपने रिश्ते को खत्म करने से इनकार कर दिया।
विशेष लोक अभियोजक वी. एस. विनीत कुमार ने बताया कि इससे पहले भी उसने फलों के रस में पैरासिटामोल की गोलियां मिलाकर राज को पिलाने की कोशिश की थी। लेकिन नाकाम रही क्योंकि उसने कड़वे स्वाद के कारण इसे पीने से इनकार कर दिया था।
कुमार ने बताया कि अभियोजन पक्ष ने अपराध साबित करने के लिए परिस्थितिजन्य, डिजिटल और वैज्ञानिक साक्ष्य अदालत के समक्ष प्रस्तुत किये।
भाषा धीरज सुभाष
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