नयी दिल्ली, 16 दिसंबर (भाषा) आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सोमवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत केंद्र सरकार पर महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने और राष्ट्रीय राजधानी में कानून-व्यवस्था बनाए रखने की अपनी जिम्मेदारी निभाने में नाकाम रहने का आरोप लगाया।
त्यागराज स्टेडियम में ‘महिला अदालत’ कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा, ‘दस साल पहले आपने मुझे दिल्ली में स्कूल, अस्पताल और जलापूर्ति बेहतर करने की जिम्मेदारी दी थी और मैंने अपना काम किया। लेकिन आपने सुरक्षा की जिम्मेदारी भाजपा और अमित शाह को दी, जो इसे सुनिश्चित करने में नाकाम रहे।’
केजरीवाल ने कहा, ‘दिल्ली की महिलाएं मेरे लिए वोट बैंक नहीं हैं, मैं उन्हें अपनी बहन और मां मानता हूं। मैंने उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने में अपनी पूरी ताकत लगा दी। ‘आप’ के सत्ता में आने से पहले राष्ट्रीय राजधानी में सीसीटीवी कैमरे नहीं थे। हमने लोगों की सुरक्षा बढ़ाने के लिए सीसीटीवी कैमरे लगाए और ‘बस मार्शल’ नियुक्त किए।’
केजरीवाल के आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा ने ‘आप’ पर निशाना साधा और कहा कि पार्टी को सबसे पहले केजरीवाल के सहयोगी विभव कुमार द्वारा अपनी सांसद स्वाति मालीवाल के कथित उत्पीड़न की शिकायत पर कार्रवाई करनी चाहिए।
भाजपा ने समाजवादी पार्टी (सपा) प्रमुख अखिलेश यादव को ‘महिला अदालत’ में आमंत्रित करने के लिए ‘आप’ की आलोचना की और आरोप लगाया कि उनके पिता दिवंगत मुलायम सिंह यादव ने एक बार महिलाओं के खिलाफ अपराध करने वालों का बचाव किया था।
भाजपा ने कहा, ‘महिला अदालत स्थापित करने वाले अरविंद केजरीवाल को विभव कुमार को निष्कासित करके स्वाति मालीवाल को न्याय दिलाना चाहिए था। साथ ही ‘निर्भया दिवस’ कार्यक्रम के लिए अखिलेश यादव को आमंत्रित करना इस स्मृति दिवस का अपमान है।’
भाजपा ने एक बयान में पूछा, ‘केजरीवाल यह भूल गए हैं कि अखिलेश यादव के पिता मुलायम सिंह यादव ने एक बार महिलाओं के खिलाफ अपराध करने वाले लड़कों का बचाव करते हुए कहा था कि ‘लड़कों से गलतियां हो जाती हैं।’ क्या केजरीवाल में इतनी हिम्मत है कि वह अखिलेश यादव से अपने पिता की टिप्पणी के लिए देश की महिलाओं से माफी मांगने को कहें।’
यह कार्यक्रम 2012 में दिल्ली में हुई सामूहिक बलात्कार की घटना की 12वीं बरसी पर आयोजित किया गया था। इस अवसर पर सैकड़ों महिलाओं ने ‘निर्भया अमर रहे’ और ‘महिला शक्ति जिंदाबाद’ जैसे नारे लगाए।
दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने 2012 की इस भयावह घटना को शहर के इतिहास पर ‘काला धब्बा’ बताया।
दिल्ली के निवासियों से सवाल करते हुए उन्होंने कहा, ‘क्या 12 साल बाद आप रात में यात्रा करते हुए सुरक्षित महसूस करते हैं?’
खुद को दिल्ली की बेटी बताते हुए आतिशी ने राजधानी में कानून-व्यवस्था के लिए जिम्मेदार लोगों पर सवाल उठाया और पूछा कि शहर में महिलाओं के खिलाफ अपराध क्यों जारी हैं।
उन्होंने कहा, ‘उनकी केवल एक जिम्मेदारी है, दिल्ली में महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करना। लेकिन क्या वे इस जिम्मेदारी को पूरा कर रहे हैं।’
सभा को संबोधित करते हुए अखिलेश ने कहा कि जब वह उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री थे, तो उन्होंने 2012 की सामूहिक बलात्कार पीड़िता के परिवार से मुलाकात की थी और उन्हें आवश्यक सुविधाएं मुहैया कराने का काम किया था।
उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘लेकिन भाजपा ने सत्ता में आने के बाद अपने वादे पूरे नहीं किए।’’
भाजपा की आलोचना करते हुए अखिलेश ने कहा, ‘‘जो लोग मणिपुर में सुरक्षा सुनिश्चित नहीं कर सके, वे दिल्ली में सुरक्षा कैसे प्रदान करेंगे?’’
आम आदमी पार्टी द्वारा सत्ता में दोबारा आने पर महिलाओं को 2,100 रुपये की वित्तीय सहायता देने के वादे की सराहना करते हुए सपा नेता ने कहा, ‘मैं इस पहल के लिए ‘आप’ को बधाई देना चाहता हूं।’
केंद्रीय गृह मंत्रालय पर अपने कर्तव्यों को पूरा करने में विफल रहने का आरोप लगाते हुए अखिलेश ने कहा, ‘आम आदमी पार्टी को दिल्ली पर शासन करने का एक और मौका दिया जाना चाहिए।’
इस अवसर पर टेलीविजन पर आने वाले कार्यक्रम ‘आप की अदालत’ की तर्ज पर महिलाओं के खिलाफ अपराधों को उजागर करने वाला एक छोटा वीडियो दिखाया गया, जिसमें केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर महिलाओं की सुरक्षा के मामले में निष्क्रियता बरतने का आरोप लगाया गया।
दिल्ली में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले आयोजित इस कार्यक्रम में समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव, दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी और ‘आप’ के राज्यसभा सांसद संजय सिंह समेत अन्य लोग शामिल हुए।
भाषा योगेश पारुल
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